जनांकिकी : परिभाषा, अध्ययन की पद्धतियाँ एवं उपयोगिता (DEMOGRAPHY : DEFINITION, METHODS OF STUDY & UTILITY)

जनांकिकीय संक्रमण सिद्धांत क्या है,जनांकिकीय लाभांश क्या है,जनांकिकीय लाभांश,जनांकिकी,जनांकिकीय संक्रमण,जनांकिकी का महत्व,जनांकिकीय संक्रमण की अवस्था,
जनांकिकी : परिभाषा, अध्ययन की पद्धतियाँ एवं उपयोगिता (DEMOGRAPHY : DEFINITION, METHODS OF STUDY & UTILITY)
2011 के आँकड़ों के अनुसार विश्व की जनसंख्या 700 करोड़ से अधिकं और भारत की जनसंख्या 121 करोड़ के पार कर चुकी है ऐसे समय में समाजशास्त्र में भी सामाजिक जनांकिकी (Demography) विषय का महत्व बढ़ गया है। 'Demography' शब्द ग्रीक भाषा के दो शब्दों 'Demo' एवं 'Graphy' (Demo = जनता, Graphy = लिखना) से मिलकर बना है, जिसका आशय जनता के विषय में लिखना होता है। इस शब्द का सर्वप्रथम प्रयोग सन् 1855 में आशिले गुइलाई ने किया था। उनके अनुसार “जनांकिकी एक ऐसा विज्ञान है जो मनुष्यों की संख्या के बारे में अध्ययन करता है।" प्रारम्भ में जनसंख्या सम्बन्धी अध्ययन का क्षेत्र जनगणना तक ही सीमित था। किन्तु वर्तमान समय में जनसंख्या का तथ्यसिद्ध, सांख्यिकीय एवं गणितीय विश्लेषण किया जाने लगा है, जिसे एक विषय का रूप देकर जनांकिकी की संज्ञा दी गयी है। जनांकिकी की परिभाषा (Definition of Demography):- जनांकिकी की परिभाषा का हम यहाँ निम्न भागों में अध्ययन करेंगे। संकुचित परिभाषा (Narrow Definitions):- उन्नीसवीं शताब्दी के विद्वानों जैसे- गुइलार्ड, लिवासियर, वान मेयर, हिपल, बेंजामिन, आदि ने जनांकि…