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1. सामान्यता किसी देश
का विकास किस आधार पर निर्धारित किया जाता है?
2. निम्नलिखित पड़ोसी
देशों में से मानव विकास के लिहाज से किस देश की स्थिति भारत से बेहतर है?
3. मान लीजिए कि एक देश में 4 परिवार हैं. इन परिवारों की प्रति व्यक्ति आय रु• है. अगर 3 परिवारों की आय क्रमश: 4000, 7000, और 3000 रूपये है, तो चौथे परिवार की आय क्या है?
(क) 7500 रू•
(ख) 3000 रू•
(ग) 2000 रू•
(घ) 6000 रू•
व्याख्या:-
• माना कि चौथे परिवार
की प्रतिव्यक्ति आय = X रूपये है.
तो
प्रतिव्यक्ति आय= सभी परिवारों की कुल आय ÷ परिवारों की संख्या
5000 = 4000 + 7000 + 3000 + X ÷ 4
5000 = 14000 + X ÷ 4
अब
5000 ÷ 1 = 14000 + X ÷ 4
अब क्रास गुणा करने पर
14000 + X = 5000 × 4
14000 + X = 20000
इसलिए
X = 20000 - 14000
X = 6000
इस प्रकार 6000 रूपये चौथे परिवार की आय है.
4. विश्व बैंक विभिन्न
वर्गों का वर्गीकरण करने के लिए किस प्रमुख मापदंड का प्रयोग करता है? इस मापदंड
की अगर कोई है, तो सीमाएं क्या हैं?
उत्तर:- विश्व बैंक
विभिन्न वर्गों का वर्गीकरण करने के लिए मुख्यतः प्रति व्यक्ति आय या औसत आय को
मापदंड में शामिल करता है. इसके कुछ मापदंड इस प्रकार है.
विश्व बैंक की विश्व
विकास रिपोर्ट-2017 के अनुसार प्रतिवर्ष प्रति व्यक्ति 12056 अमेरिकी डॉलर ( US $)
या इससे अधिक आय वाले देश विकसित देश की श्रेणी में आते हैं. जैसे- अमेरिका,
ब्रिटेन, नार्वे, स्वीडेन, जापान, कनाडा इत्यादि. तथा जिनकी आय प्रति वर्ष प्रति
व्यक्ति 995 अमेरिकी डॉलर (US $) या उससे कम आय वाले हैं. उन्हें निम्न आय वाला
देश कहा गया. जैसे:- कांगो, जिम्बाब्वे इत्यादि.
औसत आय की सीमाएं:-
आय का असमान वितरण होने
के कारण प्रति व्यक्ति आय से यह पता नहीं चलता है कि देश की आय लोगों में किस तरह
वितरित है. दूसरे शब्दों में प्रति व्यक्ति आय विषमताओं को छुपाता है. इससे
वास्तविक प्रति व्यक्ति आय का पता लगाना मुश्किल है.
5. विकास मापने का
यूएनडीपी का मापदंड किन पहलुओं में विश्व बैंक के मापदंड से अलग है?
उत्तर:- विश्व बैंक तथा
यूएनडीपी विकास मापने के लिए अलग -अलग मापदंडों का प्रयोग करते हैं. यह मापदंड इस प्रकार है:-
विश्वबैंक:- विश्व बैंक विकास मापने के लिए औसत आय (प्रति
व्यक्ति आय) का प्रयोग करता है. विश्व बैंक की विश्व विकास रिपोर्ट 2017 के अनुसार
वे देश जिनकी प्रति व्यक्ति औसत आय प्रतिवर्ष 12056 अमेरिकी डॉलर (US $) या उससे
अधिक है. तो उसे विकसित और समृद्ध देश का कहा गया है. वहीं प्रति वर्ष 995
अमेरिकी डॉलर या उससे कम आय वाले देश निम्न आय वर्ग के देशों में आते हैं.
इधर, भारत 1820 अमेरिकी डॉलर प्रति वर्ष प्रति व्यक्ति आय के साथ मध्यम आय वाले
देश के अंतर्गत आता है.
यु• एन• डी• पी• :- यह विकास मापने के मापदंड के रूप में मानव के
भौतिक स्तर अर्थात् मानव विकास सूचकांक का प्रयोग करता है. यूएनडीपी प्रतिवर्ष
मानव विकास रिपोर्ट जारी करता है. इस रिपोर्ट में यूएनडीपी देशों की तुलना के लिए
लोगों के प्रति व्यक्ति आय के अतिरिक्त शैक्षिक एवं स्वास्थ्य के आधार पर करता है.
इस प्रकार, विश्व बैंक
विकास मापने के रूप में आय का प्रयोग करता है. जबकि यूएनडीपी विकास मापने के लिए
आए के साथ-साथ शिक्षा और स्वास्थ्य मापदंडों का भी प्रयोग करता है.
6. हम औसत का प्रयोग
क्यों करते हैं? इनके प्रयोग करने की क्या कोई सीमाएं हैं! विकास से जुड़े अपने
उदाहरण देकर स्पष्ट कीजिए?
उत्तर:- हम औसत का
प्रयोग इसलिए करते हैं, क्योंकि दो देशों की आर्थिक स्थिति जानने का यह सबसे अधिक
सरल मापदंड है. किसी देश की आय को यदि उसकी कुल जनसंख्या से विभाजित कर दिया जाए,
तो उसकी औसत आय प्राप्त हो जाती है. इसी प्रकार, विभिन्न प्रकार के विषयों से
संबंधित औसत प्राप्त की जा सकती है.
यद्यपि सभी औसतें तुलना
करने के लिए आसान तरीका है. परंतु इसकी भी कुछ सीमाएं हैं. आइए इसे एक उदाहरण से
समझने का प्रयास करते हैं:-
यहां उदाहरण के लिए हम
दो देश पहला “क” और दुसरा “ख” को देखते हैं. सरलता हेतु हम यहां प्रत्येक देश में
पांच व्यक्ति को लेते हैं.
दो देशों की तुलना हेतु औसत का प्रयोग और उसकी सीमाएं
दो देशों की तुलना |
|||||||
देश |
नागरिकों की मासिक आय(रुपये में) |
||||||
1 |
2 |
3 |
4 |
5 |
कुल आय |
औसत आय |
|
देश क |
9,500 |
10,500 |
9,800 |
10,000 |
10,200 |
50000 |
10000 |
देश ख |
500 |
500 |
500 |
500 |
48000 |
50000 |
10000 |
दो देशों के नागरिकों
की आय उक्त उदाहरण में देश “क” और देश “ख” की आवश्यकता है बराबर 10,000 रू• है. परंतु
क्या दोनों देशों के नागरिकों की आय एक जैसी है. नहीं, देश “क” का औसत आय देश के
प्रत्येक नागरिक के आय के लगभग बराबर है. परंतु देश “ख” में 4 नागरिकों की आय 500-500 रू• है. जबकि पांचवें व्यक्ति की आय औसत
से बहुत अधिक 48,000 रू• है.
इस प्रकार देखते हैं कि
देश “ख” की औसत आय 10,000 रू• के बराबर सभी नागरिकों के आय से मेल नहीं खाती है.
इसलिए देश “ख” में औसत आय से यह पता नहीं चलता है कि लोगों की प्रति व्यक्ति आय
कितनी है.
अत: हम कह सकते हैं
कि औसत आय तुलना करने का आसान तरीका है, परंतु इसकी भी
कुछ सीमाएं हैं.
7. प्रति व्यक्ति आय कम
होने पर भी केरल का मानव विकास क्रमांक हरियाणा से ऊंचा है. इसलिए प्रति व्यक्ति
आय एक उपयोगी मापदंड बिल्कुल नहीं है, और राज्यों की तुलना के लिए इसका उपयोग नहीं
करना चाहिए. क्या आप सहमत हैं! चर्चा कीजिए?
राज्यों या देशों के बीच
तुलना के लिए प्रतिव्यक्ति आय उपयुक्त है या मानव विकास सूचकांक
राज्य |
शिशु मृत्यु दर
प्रति
1000 व्यक्ति
2016 |
साक्षरता दर
2011 |
कक्षा
1 से 5 का निवल अनुपात |
प्रति व्यक्ति आय
2015-16 |
HDI रैंकिंग
2017 |
केरल |
10 |
94 |
83 |
140190 |
1 |
हरियाणा |
33 |
82 |
62 |
162034 |
13 |
इस प्रकार, हम कह सकते
हैं कि प्रति व्यक्ति आय के आंकड़े तुलना एवं उनके आर्थिक विकास के स्तर जांचने के
लिए एक कारगर आधार तो हैं, परंतु मानव विकास सूचकांक के आंकड़े हमें और भी अधिक
सही और स्पष्ट तस्वीर प्रस्तुत करता है.
8. भारत के लोगों द्वारा ऊर्जा के किन स्रोतों
का प्रयोग किया जाता है? ज्ञात कीजिए! अब से 50 वर्ष पश्चात क्या संभावनाएं हो
सकती है?
(B) गैर परंपरागत ऊर्जा
स्रोत:– वैसे ऊर्जा स्रोत
जिसका उपयोग हाल-फिलहाल से शुरू हुआ है. तथा ये कभी न समाप्त होने वाले ऊर्जा
स्रोत हैं. जैसे:- सौर ऊर्जा, पवन ऊर्जा, जैव ऊर्जा, ज्वारीय ऊर्जा, भूतापीय ऊर्जा
इत्यादि.
9. धारणीयता का विषय विकास के लिए क्यों
महत्वपूर्ण है?
उत्तर:- धारणीयता
अर्थात् सतत् पोषणीय आर्थिक विकास से तात्पर्य उस विकास से है. जो पर्यावरण को
नुकसान पहुंचाए बिना वर्तमान में होना चाहिए. ऐसा विकास हो जो आने वाली पीढ़ियों
की आवश्यकताओं की अनदेखी किए बिना हो! इस प्रकार, धारणीयता अर्थात् सतत् पोषणीय
आर्थिक विकास महत्वपूर्ण है. इसके निम्न कारण है:-
(A) तीव्र आर्थिक विकास
एवं औद्योगिकरण के कारण प्राकृतिक संसाधनों विशेषकर खनिजों का अत्यधिक उपयोग हुआ
है. इन खनिजों के भंडार सीमित हैं यदि ये सीमित संसाधन समाप्त हो जाते हैं, तो
भविष्य में सभी देशों की वृद्धि खतरे में पड़ सकती है.
(B) यद्यपि जीवाश्म ईंधन
तथा अन्य खनिज आर्थिक विकास के लिए आवश्यक है, परंतु इनका प्रयोग पर्यावरण और
पारिस्थितिकी तंत्र के लिए नुकसानदायक है. क्योंकि जीवाश्म इंधन प्रदूषण का कारण
बनते हैं. साथ ही भविष्य में पर्यावरण संतुलन को बाधित करने का काम कर सकते हैं.
अतः धारणीयता का विषय
विकास के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण है.
10. धरती के पास सब
लोगों की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए पर्याप्त संसाधन है. लेकिन एक भी व्यक्ति
के लालच को पूरा करने के लिए पर्याप्त संसाधन नहीं है. यह कथन विकास की चर्चा में
कैसे प्रासंगिक है? चर्चा कीजिए.
उत्तर:- यह कथन विकास
के चर्चा में निम्न प्रकार से महत्वपूर्ण है:-
1. प्रयोग का सही
तरीका:- हमारी पृथ्वी पर
वर्तमान और भविष्य की सभी आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए और अनवीकरणीय संसाधन है.
बशर्ते हम उनका प्रयोग मितव्ययी ढंग (कम खर्च) से करें.
2. सतत् आर्थिक विकास:– हमें आर्थिक विकास को नियंत्रित ढंग से करना
चाहिए, हमें लालची नहीं होना चाहिए. क्योंकि तीव्र आर्थिक विकास हमारे विश्व को
विशाल मरुस्थल में परिवर्तित कर रहा है.
3. संसाधनों का
वैज्ञानिक प्रयोग:– संसाधनों का
फिजूलखर्ची से बचना चाहिए अर्थात् संसाधनों का संरक्षण करें. जैसे कम ऊर्जा खपत
वाले उपकरणों का प्रयोग करना चाहिए.
4. जनसंख्या वृद्धि:- विकासशील देशों में बढ़ती जनसंख्या चिंता
का प्रमुख कारण है. क्योंकि जितनी अधिक जनसंख्या बढ़ेगी, संसाधनों का दोहन उतना ही
अधिक होगा.
5. गैर परंपरागत साधनों
का अधिक प्रयोग:- विकासशील तीव्र
औधोगिकरण के लिए जीवाश्म ईंधनों तथा अन्य साधनों का प्रयोग बढ़ा है. आने वाले समय
में इन देशों में गैर-परंपरागत साधनों के प्रयोग को बढ़ाने की आवश्यकता है.
अत: सतत् पोषणीय आर्थिक
विकास के लिए उपरोक्त आवश्यक है.
11. पर्यावरण में
गिरावट के कुछ ऐसे उदाहरणों की सूची बनाइए जो आपने अपने आसपास देखे हो!
1. भूमिगत जल स्तर में
कमी:– हमारे आस-पास के
क्षेत्रों में तेजी से भूमिगत जल स्तर में कमी देखी गई है. जो चापानल, कुआँ या
तालाब कभी सुखते नहीं थे. उनके जलस्तर में कमी देखी जा रही है या फिर वे सूखने लगे
हैं.
2. वनों का ह्रास
होना:- हमने अपने आसपास
देखा है कि लोग अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए पेड़-पौधों को काट रहे हैं. इससे
वन सिंकुड़ रहा है.
3. वन्य प्राणियों की
तस्करी:- आसपास के वनों में पाए
जाने वाले पशु-पक्षियों के शिकार के कारण वनों में अब जंगली पशु-पक्षियों का अभाव
देखा जा. कई पशु-पक्षी विलुप्त होने के हो गए हैं, या विलुप्त के कगार पर पहुंच गए
हैं.
4. कृषि में अत्यधिक
रासायनिक उर्वरक एवं कीटनाशकों का प्रयोग:- कृषि क्षेत्रों में अत्यधिक रासायनिक उर्वरक एवं कीटनाशकों
के प्रयोग से भूमि निम्नीकरण जैसी समस्या सामने आई है. इससे भूमि में पाए जाने
वाले जीव-जंतु जैसे केंचुआ मर रहे हैं. धान खेतों में पाए जाने वाला मछली अब दिखाई
नहीं पड़ रहा है.
उपर्युक्त तरीके से
हमारे आसपास के क्षेत्रों में पर्यावरण गिरावट के उदाहरण देखे जा सकते हैं.
12. तालिका 1.6 में दी
गई प्रत्येक मदद के लिए ज्ञात कीजिए कि कौन-सा देश सबसे ऊपर है और कौन सा देश सबसे
नीचे?
उत्तर:- तालिका 1.6
मानव विकास सूचकांक से संबंधित है. 189 देशों की इस तालिका में सबसे ऊपर श्रीलंका
है जिसका एचडीआई रैंकिंग 76 वां है. जबकि सबसे नीचे की रैंकिंग 150 वां पाकिस्तान
की है. भारत इस सूची में 130 स्थान पर है.
13. नीचे दी गई तालिका
में भारत में व्यस्त को (15 से 49 वर्ष आयु वाले) जिनका BMI सामान्य से कम है.
(BMI <18.5kg/m3) का अनुपात दिखाया गया है. यह वर्ष 2015-16 में देश के विभिन्न राज्यों के एक सर्वेक्षण पर आधारित है.
तालिका का अध्ययन करके निम्नलिखित प्रश्नों का उत्तर दीजिए?
राज्य |
पुरुष % |
महिला % |
केरल |
8.5 |
10 |
कर्नाटक |
17 |
21 |
मध्य प्रदेश |
28 |
28 |
सभी राज्य |
20 |
23 |
(क) केरल और मध्य
प्रदेश के लोगों के पोषण स्तरों की तुलना कीजिए?
उत्तर:- केरल में जहां
बीएमआई सामान्य से कम पुरुषों में 8.5% तो महिलाओं में 10% है. वहीं मध्यप्रदेश
में पुरुषों और महिलाओं में 28% सामान्य से कम है. अर्थात् मध्यप्रदेश में
28% पुरुष/महिला जनसंख्या अल्पपोषित है.
(ख) क्या आप अंदाजा लगा
सकते हैं कि देश में लगभग हर पांच में से एक व्यक्ति अल्पपोषित क्यों है, यद्यपि
यह तर्क दिया जाता है कि देश में पर्याप्त खाद्य है. अपने शब्दों में विवरण दीजिए!
उत्तर:- बहुत ही सरलता
से अनुमान लगाया जा सकता है कि देश में 20% पुरुष और 23% महिला अल्पपोषित है. भारत
आकार के दृष्टिकोण से विश्व का सातवां बड़ा और जनसंख्या की दृष्टि कौन से दूसरा
बड़ा देश है. देश में पर्याप्त अनाज के भंडार होने के बाबजूद भी यहां अल्पपोषण एक
बड़ी समस्या है. क्योंकि देश में बहुत अधिक गरीबी है, लोगों में अशिक्षा है, लोगों
की आय निम्न है तथा संसाधनों का बंटवारा विषम रूप से है.
इसके अतिरिक्त कुछ अन्य
प्रश्न भी जैक बोर्ड द्वारा पूछे गए हैं जो निम्न है:-
नोट:- ये सभी
प्रश्न एक अंक स्तरीय है.
उत्तर:- परिवार,
क्षेत्र, समाज, राज्य या देश और दुनिया में होने वाले किसी भी प्रकार के सकारात्मक
बदलाव जो मानव जीवन को बेहतरी की ओर ले जाता है. वास्तव में वहीं विकास है. जैसे:-
कच्ची सड़कों से पक्की सड़कों का बनना, कच्ची मकानों से पक्के मकानों में बदलना इत्यादि.
उत्तर:- भारत में लोगों
द्वारा ऊर्जा के दो स्रोतों का प्रयोग किया जाता रहा है.
1. परंपरागत ऊर्जा
स्रोत:- ये वे ऊर्जा
स्रोत है जो कई वर्षों से उपयोग में लाया जाता रहा है. जैसे:- कोयला, पेट्रोलियम,
प्राकृतिक गैस, तापीय विद्युत तथा जल विद्युत इत्यादि.
2. गैर-परंपरागत ऊर्जा
स्रोत:- ये वे ऊर्जा
स्रोत है जिसका इस्तेमाल हाल-फिलहाल से शुरू हुआ है. ये ऊर्जा स्रोत कभी न समाप्त
होने वाले स्रोत है. जैसे:- सौर ऊर्जा, पवन ऊर्जा, ज्वारीय ऊर्जा, भूतापीय
ऊर्जा इत्यादि.
Q. 3. प्रति व्यक्ति आय
से आप क्या समझते हैं? (Jac Board 2009S, 2011 A, 2015 A)
उत्तर:- औसत वस्तुओं,
राज्यों या देशों के बीच तुलना करने का एक सरल तरीका है. इसलिए हम औसत का प्रयोग
करते हैं.
उत्तर:- किसी भी देश की
1 वर्ष में उत्पादित सभी वस्तुओं और सेवाओं की मौद्रिक मूल्य को राष्ट्रीय आय कहते
हैं.
धारणीयता अर्थात सतत् पोषणीय
विकास इसलिए जरूरी है, क्योंकि खनिज संसाधनों के भंडार सीमित है. और यदि ये समाप्त
हो जाएंगे तो देशों का विकास रूक जाएगा. साथ ही जीवाश्म ईंधन के प्रयोग से
पर्यावरणीय समस्याएं उत्पन्न हुई है. इसलिए धारणीयता का विषय विकास के लिए जरूरी
है.
उत्तर:- तुलना के लिए
औसत एक सरल तकनीक है. जैसे- विद्यार्थियों के बीच तुलना करने के लिए उनके प्राप्त
अंकों का औसत निकाला जाता है. और इससे विद्यालयों में बच्चों का रैंकिंग तय की जाती
है.
वस्तुनिष्ठ प्रश्न
1. यदि एक व्यक्ति का वजन 55 किलोग्राम है और उसकी ऊंचाई 1.6 मीटर अर्थात 160 सेंटीमीटर है तो उसका बीएमआई क्या होगा?
2. आधुनिक तकनीक से लैस देश को क्या कहा जाता है?
3. आर्थिक विकास मापने की साधारण विधि इनमें से कौन सी है?
4. भारत आधुनिक तकनीकी दृष्टि से कैसा देश है?
5. मानव विकास सूचकांक का संक्षिप्त नाम क्या है?
6. यदि किसी एक व्यक्ति के पास यातायात साधन के रूप में साइकिल है तो यातायात साधन के रूप में उसका विकास का अगला लक्ष्य क्या होगा?
7. BMI ( बी एम आइ ) का विस्तार रूप क्या है?
8. सामान्यतः किसी देश का विकास किस आधार पर निर्धारित किया जा सकता है?
9. विश्व बैंक के वर्ष 2017 के आंकड़ों के अनुसार भारत में प्रति व्यक्ति आय कितनी अमेरिकी डॉलर थी?
10. निम्नलिखित पड़ोसी देशों में से मानव विकास के लिहाज से किस देश की स्थिति भारत से बेहतर है?
11. 1000 जीवित बच्चों में 1 वर्ष से कम आयु में मरने वाले बच्चों का अनुपात क्या कहलाता है?
12. मान लीजिए कि एक देश में 4 परिवार हैं. इन परिवारों की प्रति व्यक्ति आय 5000 रु• है. अगर 3 परिवारों की आय क्रमश: 4000, 7000, और 3000 रूपये है, तो चौथे परिवार की आय क्या है?
13. इनमें से शरीर का पोषण स्तर ज्ञात करने के लिए किसका प्रयोग किया जाता है?
14. मानव विकास रिपोर्ट 2018 के अनुसार भारत में जन्म के समय संभावित आयु क्या थी?
15. देश की उन्नति में महत्वपूर्ण योगदान होता है?