12th भूगोल (Geography ) Model Paper Solution 2022-23

12th भूगोल (Geography ) Model Paper Solution 2022-23

वार्षिक परीक्षा (2022-23)

झारखण्ड शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद्, राँची

मॉडल प्रश्न पत्र ( विषयनिष्ठ) सेट-1

कक्षा-12

विषय- भूगोल (Geography )

समय - 1 घंटा 30 मिनट

पूर्णांक- 35


विषय- भूगोल (Geography )

सामान्य निर्देश (General Instruction )

> परीक्षार्थी यथासंभव अपने शब्दों में उत्तर दें।

> कुल प्रश्नों की संख्या 19 है।

> प्रश्न संख्या 1 से प्रश्न संख्या 7 तक अति लघु उत्तरीय प्रश्न हैं। इनमें से किन्ही पाँच प्रश्नों के उत्तर एक वाक्य में दीजिए। प्रत्येक प्रश्न का मान 1 अंक निर्धारित है।

> प्रश्न संख्या 8 से प्रश्न संख्या 14 तक लघु उत्तरीय प्रश्न हैं। इनमें से किन्हीं 5 प्रश्नों के उत्तर अधिकतम 50 शब्दों में दीजिए। प्रत्येक प्रश्न का मान 3 अंक निर्धारित है।

> प्रश्न संख्या 15 से प्रश्न संख्या 19 तक दीर्घ उत्तरीय प्रश्न हैं। इनमें से किन्ही तीन प्रश्नों के उत्तर अधिकतम 100 शब्दों में दीजिए। प्रत्येक प्रश्न का 5 अंक निर्धारित है।

1. जनसंख्या घनत्व को परिभाषित करें।

उत्तर : प्रति इकाई क्षेत्र पर निवास करने वाली व्यक्तियों की संख्या को जनसंख्या घनत्व कहा जाता है। दूसरे शब्दों में किसी क्षेत्र में कुल आबादी और कुल क्षेत्रफल के अनुपात को जनसंख्या घनत्व कहा जाता है।

2. रोपण कृषि किसे कहते हैं?

उत्तर : रोपण कृषि वाणिज्य कृषि का एक प्रकार है। जहाँ चाय, कहवा, काजू, रबड़, केला अथवा कपास की एकल फ़सलें उगाई जाती है। इसमें बृहत पैमाने पर श्रम और पूंजी की आवश्यकता होती है। उत्पाद का प्रसंस्करण खेतों पर ही या निकट के कारखानों में किया जाता है।

3. सशक्तिकरण का अर्थ क्या है?

उत्तर : सशक्तिकरण का अर्थ एक ऐसी प्रक्रिया से है जिसके तहत शक्तिहीन लोगों को अपने जीवन की परिस्थितियों को नियंत्रित करने के बेहतर मौके मिल जाते हैं ।

4 भूगर्भिक जल संसाधन से क्या तात्पर्य है ?

उत्तर : भूगर्भिक जल धरती की सतह के नीचे चट्टानों के कणों के बीच के अंतरकाश या रन्ध्राकाश में मौजूद जल को कहते हैं।

5. मानव भूगोल क्या है?

उत्तर : भूगोल की प्रमुख शाखा हैं जिसके अन्तर्गत मानव की उत्पत्ति से लेकर वर्तमान समय तक उसके पर्यावरण के साथ सम्बन्धों का अध्ययन किया जाता हैं।

6. निजी करण से आप क्या समझते हैं?

उत्तर : निजीकरण का अभिप्राय, निजी क्षेत्र द्वारा सार्वजनिक क्षेत्र के उद्यमों पर पूर्ण रूप से या आंशिक रूप से स्वामित्व प्राप्त करना तथा उनका प्रबंध करना है। आर्थिक सुधारों के अन्तर्गत भारत सरकार में सन् 1991 से निजीकरण की नीति अपनायी।

7. मनुष्य की मूलभूत आवश्यकताएं क्या है?

उत्तर : भोजन, वस्त्र तथा आवास मानव की तीन मूलभूत आवश्यकताएं हैं।

8. मानव विकास के तीन सूचकांकों का वर्णन करें।

उत्तर : मानव विकास सूचकांक जीवन प्रत्याशा, शिक्षा और आय सूचकांकों का एक संयुक्त सांख्यिकी सूचकांक है जिसे मानव विकास के तीन आधार पर तैयार किया जाता है! इसे अर्थशास्त्री महबूब उल हक द्वारा तैयार किया गया था, जिसका 1990 में अर्थशास्त्री अमर्त्य सेन द्वारा समर्थन किया गया और संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम द्वारा प्रकाशित किया गया।

(1) शिक्षा सूचकांक - इसके लिए सर्वप्रथम वयस्क सूचकांक को अस्तित्व में लाया जाता है, तत्पश्चात संयुक्त संपूर्ण नामांकन अनुपात ज्ञात किया जाता है, फिर दोनों की मदद से शिक्षा सूचकांक को अस्तित्व में लाया जाता है!

(2) जीवन प्रत्याशा सूचकांक - यह सूचकांक जन्म के समय सापेक्ष जीवन प्रत्याशा की माप करता है! यदि इस सूचकांक में बढ़ोतरी होती है तो वह ज्ञात होता है कि जीवन प्रत्याशा पहले से बड़ी हुई है!

(3) सकल घरेलू उत्पाद सूचकांक - किसी देश की घरेलू सीमा के अंतर्गत 1 साल में उत्पादित सभी वस्तुओं और सेवाओं के मौद्रिक मूल्य को सकल घरेलू उत्पाद कहते हैं! इसकी गणना प्रति व्यक्ति आय के आधार पर की जाती है!

9. जनसंख्या परिवर्तन के तीन घटकों के नाम लिखें।

उत्तर : जनसंख्या परिवर्तन के तीन घटक- जन्मदर, मृत्युदर तथा प्रवास हैं।

(क) जन्मदर को प्रति हजार स्त्रियों पर जन्मे जीवित बच्चों की गणना निम्नानुसार करके ज्ञात करते हैं: 

किसी वर्ष विशेष में जीवित जन्मे बच्चों की संख्या

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(ख) किसी क्षेत्र विशेष में किसी वर्ष विशेष के दौरान प्रति हजार जनसंख्या पर मृतकों की संख्या को निम्नानुसार गणना करके ज्ञात करते हैं:

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(ग) प्रवास मनुष्य और संसाधनों के बीच बेहतर संतुलन स्थापित करने की दिशा में उठाया गया कदम है। इसके अंतर्गत लोग प्रतिकर्ष कारकों के कारण एक स्थान को छोड़ देते हैं तथा अपकर्ष कारकों के कारण दूसरे स्थान पर जाकर बस जाते हैं। इस तरह दोनों स्थानों की जनसंख्या में परिवर्तन होता है।

10. सड़क परिवहन रेल परिवहन की तुलना में किस प्रकार सुगम है।

उत्तर : भारत में सड़कों के जाल को आज दुनिया के विशाल सड़क नेटवर्कों में से एक माना जाता है। भारत में कुल 23 लाख किलोमीटर सड़क है। रेल की तुलना में सड़कें निर्माण और रखरखाव के मामले में बेहतर होती हैं। रेल परिवहन की तुलना में सड़क परिवहन का महत्व बढ़ने के कुछ कारण निम्नलिखित हैं:

1. रेल की तुलना में सड़कें बनाने की लागत कम पड़ती है।

2. सड़कें ऊबड़-खाबड़ और विछिन्न भूभागों पर भी बनाई जा सकती हैं।

3. अधिक ढ़ाल वाले क्षेत्रों और पहाड़ियों पर भी आसानी से सड़कों का निर्माण किया जा सकता है।

4. कम लोगों तथा कम सामान को छोटी दूरी तक पहुँचाने के लिये सड़क मार्ग से जाने में कम खर्चा पड़ता है।

5. घर-घर तक सामान और सेवाएँ पहुँचाना सड़कों के कारण संभव हो पाता है।

6. स‌ड़क परिवहन से परिवहण के अन्य साधनों तक कड़ी का काम किया जा सकता है।

11. भारतीय कृषि की विशेषताओं का वर्णन करें।

उत्तर : भारतीय कृषि की बात करें तो भारत में कृषि का एक विशेष स्थान है। भारत में कृषि प्रमुख रूप से की जाती है। यहाँ की कृषि सम्पूर्ण देश में अधिक से अधिक भाग यानि कि लगभग 80% हिस्से में की जाती है। जहाँ खाद्यान्न फसलों का उत्पादन ज़्यादातर किया जाता है। विचारणीय स्थिति यह है कि भारत में कृषि की प्रधानता होने के बावजूद यहाँ की कृषि अपने पिछड़ेपन को दर्शाती है।

भारतीय कृषि की प्रमुख विशेषताएँ

(1) मानसून पर निर्भरता - भारत में लगभग 70% भाग में मानसून के सहारे ही कृषि की जाती है। प्रायः देखा जाता है कि यदि वर्षा सही समय में हो जाए तो उत्पादन भरपूर हो जाता है। अन्यथा खाद्यान्न संकट की स्थिति आ जाती है।

(2) जीविका का साधन - भारतीय कृषि व्यावसायिक न होकर जीविका के साधन के रूप ज़्यादा प्रचलित है। करोड़ों कृषकों के जीविका का साधन सिर्फ़ कृषि है। करोड़ों कृषक मज़दूर सिर्फ कृषि को ही अपने पेट पालने का आधार बनाये हुए है।

(3) खाद्यान्न फसलों की प्रमुखता -खाद्यान्न फसलों की आवश्यकता जनसंख्या बढ़ने के कारण बढ़ गयी है। अतः इतनी विशालतम जनसंख्या के लिए अनाज जुटाना अत्यंत आवश्यक हो जाता है। अतः लगभग 75% भाग पर मुख्य रूप से खाद्यान्न फसलें जैसे- गेहूँ, चावल, चना आदि उगायी जाती हैं तथा शेष भाग पर व्यापारिक फसलें जैसे- जूट, कपास आदि उगायी जाती हैं।

(4) क्षेत्रीय विविधताएं - भारतीय कृषि की यह भी एक ख़ासियत है कि यहाँ अलग-अलग क्षेत्रों में जलवायु व मिट्टी की विविधता पायी जाती है। भिन्न-भिन्न क्षेत्रों में भूमि की उत्पादकता, सिंचाई सुविधाएं, भू-धारण व्यवस्था आदि में अंतर होने के कारण उत्पादकता का स्तर भी भिन्न-भिन्न होता है। फलस्वररूप भारतीय कृषि में क्षेत्रीय असमानताएँ पायी जाती हैं।

(5) जोतों का छोटा आकार - भारतीय कृषि में जोतों का आकार छोटा होता है। लगभग 58% जोतों यानि कि खेतों का आकार छोटा होता है। दरअसल पारिवारिक या सामाजिक कारणों से कृषि योग्य भूमि छोटे-छोटे भागों में बाँट दी जाती है। ऐसे छोटे खेतों से कृषकों को आय भी सीमित ही होती है। अतः ये कृषक पूँजी निवेश द्वारा भूमि की उत्पादकता बढ़ाने में समर्थ नहीं हो पाते हैं।

(6) छिपी बेरोज़गारी की स्थिति - भारत में अधिक मात्रा में छोटे किसान व मज़दूर पाए जाते हैं। जिन्हें वर्ष में केवल 4-5 महीने ही रोज़गार मिल पाता है। फ़सल बुवाई व कटाई के वक़्त ही ये मज़दूर या छोटे किसान रोज़गार प्राप्त कर पाते हैं। बाक़ी समय में बेरोज़गार रह जाते हैं। इस तरह ये छिपी बेरोज़गारी के शिकार होते हैं।

(7) कृषि स्वामित्व का असमान वितरण - भारत में कृषि के स्वामित्व का असमान वितरण की समस्या होती है। केवल 10% प्रतिशत लोगों के पास कृषि का 49 प्रतिशत भाग होता है। तो वहीं 58 प्रतिशत लोगों के पास कृषि का केवल 13 प्रतिशत भाग ही है।

(8) निम्न श्रेणी की तकनीक - भारतीय कृषि की एक विशेषता यह भी है कि यहाँ की अधिकांश कृषि आज भी पुरानी विधियों द्वारा की जाती है। नयी मशीनों के बजाय अधिकांश कृषक आज भी परम्परागत तरीकों से ही खेती करते है। परिणाम स्वरूप कृषि उत्पादन को पर्याप्त गति नहीं मिल पाती है।

12. भूनिम्नीकरण को कम करने के उपाय सुझाए।

उत्तर : कृषि भूमि की गुणवत्ता में गिरावट को भूमि क्षरण या भू-निम्नीकरण कहा जाता है। भूमि निम्नीकरण से भूमि की उत्पादक क्षमता में अस्थायी या स्थायी गिरावट आती है। भूमि संसाधनों के अंधाधुंध दोहन से भूमि का क्षरण होता है। भूमि के संरक्षण और प्रबंधन के लिए उचित उपाय किए बिना लंबे समय तक भूमि के निरंतर उपयोग के परिणामस्वरूप भूमि का क्षरण होता है।

मिट्टी का कटाव, जलभराव, लवणीकरण, क्षारीयता और लंबे समय तक एक ही फसल उगाना भू-निम्नीकरण के मुख्य कारण है। भूमि क्षरण को कम न करने से अच्छी भूमि को बंजर भूमि में परिवर्तित हो जाती है।

भूमि निम्नीकरण को कम करने के उपाय निम्नलिखित हैं:

1. कुछ मानवीय गतिविधियाँ जैसे वनों की कटाई, अत्यधिक चरई, खनन और उत्खनन गतिविधियाँ भू-निन्नीकरण के लिए ज्यदातर उत्तरदायी हैं; इन गतिविधियों की पहचन कर और उसपे नियंत्रण करने से भू-निम्नीकरण कम होगा।

2. वनरोपण और आश्रय पेटियों का रोपण और रेत के टीलों को स्थिर करने से भूमि निम्नीकरण में कमी आएगी।

3. बारानी क्षेत्रों में गहन सिंचाई पद्धतियों से भूमि में जलभराव होता हैं जिससे मृदा में लवणता बढ़ जाती है जो भू-निम्नीकरण का कारण होती हैं। पंजाब और हरियाणा मैं सघन सिंचाई और जलभराव के कारण भूमि का क्षरण हो रहा है। इन क्षेत्रो में ड्रिप तथा स्प्रिंकल सिंचाई की पतियों की जरूरत है तथा कम जल में उगने वाली फसलों को उगाने से भू-निम्नीकरण की समस्या को कम किया जा सकता हैं।

4. कुछ खनिज प्रसंस्करण उद्योगों जैसे चूना पत्थर की पिसाई, सीमेंट उद्योग और ताप विद्युत संयंत्रों से भारी धूल उत्पन्न उत्पन्न होता है जो भूमि को खराब कर देती है। धूल उत्सर्जन को कम करने के लिए नवीनतम तकनीक का उपयोग करने से भूमि का क्षरण कम होगा।

5. औद्योगिक कचरे के उचित निपटान और जल प्रदूषण को कम करने से भूमि का क्षरण कम होगा।

6. वाटरशेड प्रबंधन भूमि, पानी और वनस्पति की गुणवत्ता में सुधार करता है और लोगों के जीवन की गुणवत्ता में सुधार करता है। मध्य प्रदेश के झाबुआ जिले में वाटरशेड प्रबंधन ने भूमि की गुणवत्ता में सुधार किया है।

7. चारागाह और बंजर भूमि पर चारा घास लगाना से भू-निम्नीकरण कम होगा।

8. कई वर्षों से खेत में एक ही प्रकार की फसल उगाने से भूमि में चयनित पोषक तत्वों की कमी हो जाती है जो भू-निम्नीकरण का कारण बनती है इससे बचना चाहिए।

13. ग्रामीण बस्तियों का आकृति के आधार पर प्रतिरूप बताएं।

उत्तर : ग्रामीण बस्तियों का प्रतिरूप यह दर्शाता है कि मकानों की स्थिति किस प्रकार एक-दूसरे से सम्बन्धित है। ग्रामीण बस्तियों के प्रतिरूप उनकी आकृति, पर्यावरण तथा संस्कृति के द्वारा निर्धारित होते हैं। इन बस्तियों के मुख्य प्रतिरूप कई प्रकार की ज्यामितिक आकृतियाँ होती हैं; जैसे

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(i) रैखिक प्रतिरूप — इस प्रकार की बस्तियों में मकान सड़कों, रेल लाइनों, नदियों, नहरों, घाटी के किनारे या तटबन्धों पर स्थित होते हैं।

(ii) आयताकार प्रतिरूप – ग्रामीण बस्तियों का यह प्रतिरूप समतल क्षेत्रों अथवा चौड़ी अन्तरा पर्वतीय घाटियों में पाया जाता है। इसमें सड़कें आयताकार होती हैं जो एक-दूसरे को समकोण पर काटती हैं।

(iii) वृत्ताकार प्रतिरूप – इस प्रतिरूप के गाँव झीलों व तालाबों आदि क्षेत्रों के चारों तरफ बस्ती बस जाने से विकसित होते हैं।

(iv) तारे के आकार का प्रतिरूप – जहाँ कई मार्ग आकर एक स्थान पर मिलते हैं और उन मार्गों के सहारे मकान बन जाते हैं, वहाँ तारे के आकार की बस्तियाँ विकसित होती हैं।

(v) ‘टी आकार’,’वाई आकार’,’क्रॉस आकार के प्रतिरूप – ‘टी’ के आकार की बस्तियाँ सड़क के तिराहे पर विकसित होती हैं, जबकि ‘वाई’ आकार बस्तियाँ उन क्षेत्रों में पायी जाती हैं जहाँ पर दो मार्ग आकर तीसरे मार्ग से मिलते हैं। ‘क्रॉस’ आकार की बस्तियाँ चौराहों पर प्रारम्भ होती हैं जहाँ चौराहे से चारों दिशा में बसाव आरम्भ हो जाता है।

(vi) दोहरा प्रतिरूप – नदी पर पुल या फेरी के दोनों तरफ इन बस्तियों का विस्तार होता है।

14. मानव के प्राकृतिकरण की व्याख्या कीजिए।

उत्तर : मनुष्य के प्राकृतिककरण का अर्थ है मनुष्य और प्रकृति के बीच पूर्ण सामंजस्य, मनुष्य अपने आप को प्राकृतिक वातावरण के अनुकूल बनाते हैं और जीने के लिए प्राकृतिक नियम का पालन करते हैं।

• जब तकनीकी विकास का स्तर बहुत ही निम्न स्तर का था, तब प्राकृतिक मनुष्य थे, जो प्रकृति को सुनते थे, उसके कोप से डरते थे और उसकी पूजा करते थे।

• मानव के आदिम समाज प्राकृतिक पर्यावरण के साथ पूर्ण सामंजस्य में रहते थे।

• उदाहरण के लिए, मध्य भारत की जनजातियाँ मानव के प्राकृतिककरण का एक उदाहरण हैं क्योंकि वे महुआ के पेड़ के फूल, घास के पत्ते, और जंगल में उपलब्ध खाद्य पौधों की जड़ों को खाते थे। वे पलाश और साल के पेड़ों को आश्रय के लिए इस्तेमाल करते थे। उन्होंने बीमारी को दूर करने के लिए वहां उपलब्ध जड़ी-बूटियों का इस्तेमाल किया। वे उनके प्रति इतने दयालु होने के लिए प्रकृति (जंगल) की पूजा करते हैं।

15. विश्व में जनसंख्या वितरण को प्रभावित करने वाले प्रमुख कारकों का वर्णन करें।

उत्तर : मनुष्य उन स्थानों पर रहना चाहता है जहाँ का वातावरण उसके अनुकूल हो। जहाँ उसे सारी सुख सुविधाएं प्राप्त हो सके ।

वितरण को प्रभावित करने वाले प्रमुख कारक

A. जनसंख्या के वितरण और घनत्व को प्रभावित करने वाले प्राकृतिक कारण निम्नलिखित है

i) मृदाका का उपजाऊ मृदा क्षेत्र में जनसंख्या अधिक होती है क्योंकि उपजाऊ मिट्टी कृषि के लिए प्रमुख आधार म करती हैं।

ii) धरातल– जनसंख्या वितरण को प्रभावित करने में धरातल का भी प्रमुख योगदान है क्योंकि धरातल की दशाएँ मनुष्य के जीवन यापन पर असर डालती है। जैसे- मैदानी भागों में जनसंख्या अधिक होती है और पहाड़ी भागों में जनसंख्या कम होती हैं।

iii) जलवायु– जनसंख्या के वितरण और घनत्व को प्रभावित करने में जलवायु भी एक प्रमुख कारक है क्योंकि मनुष्य उस क्षेत्र में रहना चाहता है जहां की जलवायु उसके अनुकूल हो ।

B. जनसंख्या वितरण घनत्व को प्रभावित करने में मानवीय कारण भी प्रमुख कारण है :-

i) कृषि– जनसंख्या को प्रभावित करने में कृषि भी एक कारण है क्योंकि किसी भी देश का विकास कृषि पर निर्भर करता है। विश्व के जिन भी प्रदेशों में कृषि की अधिकता पाई जाती है वहां जनसंख्या की भी अधिकता पाई जाती हैं ।

ii) राजनैतिक– किसी भी क्षेत्र का राजनैतिक वातावरण उस क्षेत्र का जनसंख्या घनत्व या जनसंख्या पर प्रभाव डालता हैं ।

iii) यातायात– यातायात की सुविधाओं का भी जनसंख्या पर प्रभाव पड़ता है क्योंकि जिस स्थान पर यातायात की सुविधाएं अच्छी होगी, अच्छी सड़क होगी वहां की जनसंख्या घनत्व अधिक मात्रा में होगी ।

16. भारत में चावल के उत्पादन एवं वितरण का वर्णन करें।

उत्तर : भारत चीन के बाद विश्व का दूसरा बड़ा चावल-उत्पादक देश है। चावल की खेती भारत की कुल कृषि-भूमि के एक-चौथाई भाग में की जाती है। यह देश के तीन-चौथाई लोगों का प्रमुख खाद्यान्न है।

चावल उत्पादन के लिए आवश्यक भौगोलिक दशाएँ-

(1) प्रकृति - यह उष्ण कटिबन्धीय उपज है।

(2) जलवायु - उष्ण-आर्द्र जलवायु उपयुक्त होती है।

(3) तापमान - बोते समय 20° सेण्टीग्रेड, पकते समय 27° सेण्टीग्रेड आवश्यक हैं। पकते समय खुला आकाश, चमकीली धूप उपज को बढ़ाती है।

(4) वर्षा - 100 से 200 सेमी वार्षिक वर्षा वाले क्षेत्र उपयुक्त, कम वर्षा वाले क्षेत्रों में सिंचाई अनिवार्य है।

(5) मृदा- चिकनी गहरी दोमट मृदा, जिसमें चीका और जलोढ़ की मात्रा अधिक हो, उपयुक्त होती है।

(6) भूमि - समतल खेत (भूमि) जो चारों ओर से ऊँची मेड (डांडा) से घिरा हो, अति आवश्यक है।

(7) श्रम- सस्ते, कुशल व अधिक श्रमिकों की आवश्यकता होती हैं।

चावल की खेती भारत में प्रायः सभी भागों में की जाती है। परन्तु इसका प्रधान उत्पादक क्षेत्र देश का पूर्वी भाग है। गंगा का मध्यवर्ती या निचला मैदान, असम घाटी तथा पूर्वी तटीय प्रदेश और डेल्टा में चावल की खेती बड़े पैमाने पर की जाती है। देश का 90% चावल प० बंगाल, आंध्रप्रदेश, बिहार, उत्तरप्रदेश, महाराष्ट्र, तमिलनाडु, उड़ीसा, असम, केरल, कर्नाटक, मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ से प्राप्त होता है। इन सभी क्षेत्रों में चावल उत्पादन की उपयुक्त भौगोलिक दशाएँ पायी जाती हैं।

17. भारत में सिंचाई की आवश्यकता क्यों है? सिंचाई के स्रोतों का वर्णन करें।

उत्तर : भारत की अधिकांश कृषि प्राकृतिक वर्षा के ऊपर निर्भर रहती है। अनियमित वर्षा होने के कारण, फसलों को बचाने के लिए सिंचाई की आवश्यकता पड़ती है।

देश में सिंचाई की आवश्यकता इन कारणों से है-

1. भारत के अधिकांश भाग में वर्षा काफी कम होती है जो कृषि उत्पादन के लिए अपर्याप्त है।

2. देश में वर्षा कुछ महिनों में ही होती है और शीतकाल तथा ग्रीष्मकाल लगभग शुष्क रहता है। फलस्वरूप अन्य महिनों में बिना सिंचाई के कृषि संभव नहीं हो पाती है।

3. भारत में न केवल वर्षा की मात्रा अनिश्चित होती है बल्कि वर्षा का आगमन तथा समाप्त होना अनिश्चित है। साथ ही इसकी तारतम्यता, लय, तथा सघनता भी अनिश्चित होती है। कृषि के लिए इस तरह के संकटों से केवल सिंचाई ही सुरक्षा प्रदान करती है। फलस्वरूप वर्षा ऋतु में भी सिंचाई आवश्यक हो जाती है।

4. उन्नत किस्म के बीजों के लिए सतत् जल की आवश्यकता होती है। इसीलिए उन्नत बीजों पर आधारित हरित क्रांति वहीं सफल हुईं जहाँ पर सिंचाई की सुविधा पर्याप्त है।

5. असिंचित क्षेत्रों की तुलना में सिंचित क्षेत्रों में उत्पादकता अधिक है। इसीलिए कृषि उत्पादन तथा उत्पादकता बढ़ाने के लिए सिंचाई का विकास आवश्यक है।

सिंचाई के स्रोत -

कुँए, नलकूप, तालाब, झील, नदियाँ, बाँध, नहर आदि जल के स्रोत हैं. कुओं, झीलों एवं नहरों में उपलब्ध जल को खेतों तक पहुचाने के तरीके भिन्न क्षेत्रों में भिन्न भिन्न हैं.

इन विधियों में मवेशी अथवा मजदूर किए जाते हैं. ये सस्ते हैं, परन्तु काम में दक्ष हैं. विभिन्न पारम्परिक तरीके निम्न हैं-

1. मोट (घिरनी)

2. चैन पम्प

3. ढेकली

4. रहट (उतोलक)

जल को ऊपर खीचने के लिए सामान्यत पम्प का उपयोग किया जाता हैं. पम्प चलाने के लिए डीजल, बायोगैस, विद्युत् एवं सौर ऊर्जा का उपयोग किया जाता हैं।

सिंचाई की आधुनिक विधियों द्वारा हम जल का उपयोग मितव्ययता से कर सकते हैं, ये विधियाँ निम्न हैं।

1. कुएं एवं नलकूप-

a. भारत में सिंचित क्षेत्र के लगभग 56 प्रतिशत भाग में कुओं और नलकूपों द्वारा सिंचाई होती है।

b. उत्तर प्रदेश, पंजाब, तमिलनाडु, महाराष्ट्र, गोवा, बिहार और झारखण्ड में कुएं एवं नलकूप प्रमुख साधन है।

c. हरियाणा, महाराष्ट्र, बिहार, राजस्थान तथा गुजरात में भी इन साधनों का प्रयोग होता है।

2. नहर से सिंचाई–

a. नहरों द्वारा सिंचाई अधिक सस्ती और आसान है।

b. उत्तरी और मध्य भारत में नहरों द्वारा सिंचाई होती है।

c. हमारे देश में कुल सिंचित क्षेत्र का लगभग 31 प्रतिशत से अधिक भाग नहरों द्वारा ही सिंचित है।

d. नहरों द्वारा सिंचाई के सिंचित क्षेत्र उत्तरी भारत के मैदानी भाग-उत्तर प्रदेश, तथा पंजाब, जम्मू और कश्मीर, असम, त्रिपुरा, हरियाणा, ओडिशा, कर्नाटक, प. बंगाल, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश तथा दक्षिण की नदियों के डेल्टा प्रदेश है।

3. तालाबों द्वारा सिंचाई -

a. मध्य और दक्षिण भारत में जहाँ प्रायः कुएँ खोदना या नहरें निकालना बहुत कठिन है, वहाँ तालाबों द्वारा सिंचाई की जाती है।

b. कुल सिंचित भाग का लगभग 6 प्रतिशत भाग तालाबों के पानी द्वारा सिंचित है।

c. आंध्र प्रदेश और तमिलनाडु प्रमुख सिंचित राज्य हैं। कर्नाटक, पश्चिम बंगाल तथा उत्तर प्रदेश में भी तालाबों द्वारा सिंचाई की जाती है।

18. अंतरराष्ट्रीय व्यापार किसी राष्ट्र के आर्थिक विकास का मापदंड होता है, व्याख्या करें।

उत्तर : अंतरराष्ट्रीय व्यापार किसी राष्ट्र के आर्थिक विकास क मापदंड होता है क्योंकि :-

1. किसी भी देश के अंतर्राष्ट्रीय व्यापार से उस देश की समृद्धि का आकलन किया जा सकता है।

2. अंतर्राष्ट्रीय व्यापार के कारण कोई भी देश आर्थिक संकट का आसानी से सामना कर सकता है। उदाहरण के लिए, यदि किसी देश मे अकाल की स्थिति उत्पन्न हो जाती है तो वह देश, विदेशों से खाद्यान्न आयात करके अकाल का सामना कर सकता है।

3. अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मे वस्तुओं का उत्पादन सिर्फ घरेलू मांग को पूरा करने के लिए ही नहीं होता है बल्कि विदेशों में बेचने हेतु भी वस्तुओं का उत्पादन किया जाता है। इससे राष्ट्रीय उत्पादन में वृद्धि के कारण लोगो की आय बढ़ जाती है। ज्यादा उत्पादन के लिए ज्यादा मजदूरों की जरूरत होती है फलस्वरूप रोजगार स्तर में भी वृद्धि हो जाती है।

4. अंतर्राष्ट्रीय व्यापार देश के औद्योगिक विकास मे भी सहायक होता है। उद्योगों के विकास हेतु जो साधन देश मे उपलब्ध नही है, उनका विदेशों से आयात किया जा सकता है। उदाहरण के लिए इंग्लैंड अपने उद्योगों के लिए कच्चा माल विदेशों से आयात करता है। इसी तरह भारत मे उत्पादन तकनीक का आयात करके औद्योगिक विकास किया गया है।

5. अंतर्राष्ट्रीय व्यापार से उपभोक्ताओं को लाभ प्राप्त है। जैसे -

a. उपभोक्ताओं को उपभोग के लिए अच्छी तथा सस्ती वस्तुएं मिलती है।

b. वे अपनी मनचाही वस्तुओं का उपयोग कर सकते है।

19. भारत के मानचित्र में निम्नलिखित को दर्शाइए।

a. कोच्चि

b पारादीप

c. कोलकाता

d. विशाखापट्टनम

e. मुंबई

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वार्षिक परीक्षा (2022-23)

मॉडल प्रश्न पत्र ( वस्तुनिष्ठ)

सामान्य निर्देश:-

> कुल 35 प्रश्न हैं।

> सभी प्रश्नों के उत्तर अनिवार्य हैं।

> प्रत्येक प्रश्न के लिए अंक निर्धारित है।

> प्रत्येक प्रश्न के चार विकल्प दिए गए हैं। सही विकल्प का चयन कीजिये।

> गलत उत्तर के लिए कोई अंक नहीं काटे जाएंगे।

1) "मानव भूगोल क्रियाशील मानव और अस्थाई पृथ्वी के परिवर्तनशील संबंधों का अध्ययन है। "यह किसने कहा है?

a. प्रोफेसर हाटिंगटन

b. कुमारी सैंपल

c. डेविस

d. जीन ब्रूस

2) निम्नलिखित में से कौन सा एक विरल जनसंख्या वाला क्षेत्र नहीं है?

a. अटाकामा

b. भूमध्यसागरीय प्रदेश

c. दक्षिण पूर्वी एशिया

d. ध्रुवीयप्रदेश

3) प्रतिकर्ष अपकर्ष कारक उत्तरदायी है।

a. प्रवास के लिए

b. भू-निम्नीकरण के लिए

c. वायु प्रदूषण के लिए

d. गंदी बस्तियों के लिए

4) सबसे कम लिंगानुपात किस देश का है।

a. लाटविया

b. भारत

c. पाकिस्तान

d. संयुक्त अरब अमीरा

5) मानव विकास की अवधारणा निम्न में से किस विद्वान की देन है?

a. प्रोफेसर अमर्त्य सेन

b. डॉक्टर महबूब उल हक

c. एलएनसी सैंपल

d. रेट जेल

6) निम्न में से कौन सा रोपण कृषि नहीं है?

a. कॉफी

b. गन्ना

c. गेहूं

d. रबड़

7) निम्न में से किस में उच्चतम साक्षरता दर है।

a. लक्षद्वीप

b. चंडीगढ़

c. दमन दीव

d. अंडमान निकोबार

8) सन 2011 की जनगणना के अनुसार भारत की जनसंख्या कितनी है।

a. 119.01 करोड़

b. 121.01 करोड़

c. 36 करोड़

d. 84 करोड़

9) नई औद्योगिक नीति की घोषणा कब की गई?

a. 1990

b. 1991

c. 1992

d. 1993

10) निम्नलिखित में से कौन सा नदी के तट पर अवस्थित नहीं है।

a. कोलकाता

b. आगरा

c. भोपाल

d. पटना

11) शुष्क कृषि में निम्न में से कौन सी फसलें नहीं बोयी जाती?

a. रागी

b. ज्वार

c. मूंगफली

d. गन्ना

12) भारत में नदी द्रोणी में उपभोग योग्य जल सर्वाधिक निम्न में से किस में है।

a. सिंधु

b. कृष्णा

c. गोदावरी

d. कावेरी

13) हीराकुंड डैम किस नदी पर बनाई गई है।

a. गंगा

b. महानदी

c. दामोदर

d. शंख

14) वर्ष 2011 के अनुसार 50 लाख से अधिक जनसंख्या वाला नगर निम्न में से कौन सा है?

a. पुणे

b. सूरत

c. पटना

d. रांची

15) चलवासी पशुचारण करने वाली जनजाति कौन सी है?

a. पिग्मी

b. मसाई

c. युकागिर

d. पापुआन

16) विश्व में सर्वाधिक जनसंख्या केंद्रित है।

a) पर्वतीय क्षेत्रों में

b) मैदानों में

c) पठार में

d) मरुस्थल में

(17) निम्नलिखित में से किस ने संयुक्त अरब अमीरात के लिंग अनुपात को निम्न किया है।

a) पुरुष कार्यशील जनसंख्या का चयनित प्रवास

b) पुरुषों की उच्च जन्म दर

c) स्त्रियों के निम्न जन्म दर

d) स्त्रियों का उच्च प्रवास

18) निम्नलिखित में से कौन सा देश उच्च मानव विकास वाला है?

a) दक्षिण अफ्रीका

b) भारत

c) चीन

d) नार्वे

19) निम्न प्रदेशों में से किसमें विस्तृत वाणिज्य अनाज कृषि नहीं की जाती है?

a) प्रेयरी क्षेत्र

b) पंपास क्षेत्र

c) स्टेपिस क्षेत्र

d) अमेजन क्षेत्र

(20) भारत का प्रति वर्ग किलोमीटर जनघनत्व वर्ष 2011 के अनुसार कितना है?

a) 267

b) 325

c) 330

d) 382

21) निम्न में से कौन सा कारक प्रवास का आकर्षक या अनुकूल कारक है?

a) महामारी

b) राजनीतिक अस्थिरता

c) रोजगार के अवसर

d) जल की अनुपलब्धता

22) मानव विकास सूचकांक 2016 के संदर्भ में विश्व के देशों में भारत की निम्नलिखित में से कौन सा स्थान था?

a)110

b)120

c) 131

d)140

23) नदियों के डेल्टाओं के सहारे अधिवास किस प्रतिरूप के होते हैं?

ca) अरीय प्रतिरूप

b) तारा प्रतिरूप

c) पंखा प्रतिरूप

d) अनियमित प्रतिरूप

24) आर्द्र कृषि में कितनी वार्षिक वर्षा आवश्यक है?

a) 25 सेंटीमीटर से कम

 b) 25 से 50 सेंटीमीटर

(c) 75 सेंटीमीटर से अधिक

d) इनमें से कोई नहीं

25) निम्नलिखित नदियों में से किस नदी में सर्वाधिक पुनः पूर्ति योग्य भोम जल संसाधन है?

a) गंगा

 b) गोदावरी

c) ब्रह्मपुत्र

d) कावेरी

26) हरित क्रांति शब्द का प्रयोग सर्वप्रथम किस विद्वान ने किया?

a) प्रोफेसर अमर्त्य सेन

b) डॉक्टर महबूब उल हक

c) डॉक्टर विलियम गॉड

d) डार्विन

(27) भारतीय जनगणना इतिहास में किस वर्ष को ग्रेट डिवाइड की संज्ञा दी गई है?

a) 1911

b)1981

c) 1951

d) 1921

28) भारत में स्थानांतरित कृषि को क्या कहा जाता है?

a) रोका

b) झूम

c) रे

d) लदान

29) दो देशों के मध्य व्यापार कहलाता है।

a. अंतर्देशीय व्यापार

b. बाह्य व्यापार

c. स्थानीय व्यापार

d. अंतरराष्ट्रीय व्यापार

30) कोच्चि पतन अवस्थित है।

a. कर्नाटक में

b. ओडिशा में

c. केरल में

d. तमिलनाडु में

(31) विश्व का व्यस्ततम समुद्री मार्ग कौन सा है?

a. कैप मार्ग

b. उत्तरी प्रशांत महासागरीय मार्ग

c. उत्तरी अटलांटिक महासागरीय मार्ग

d. दक्षिणी अटलांटिक महासागरीय मार्ग

32) पनामा नहर जोड़ती है।

a. प्रशांत महासागर एवं हिंद महासागर

b. प्रशांत महासागर एवं अटलांटिक महासागर

c. अटलांटिक महासागर एवं हिंद महासागर

d. हिंद महासागर एवं आर्कटिक महासागर

33) ट्रॉस साइबेरियन रेल मार्ग किस देश में स्थित है।

a. चीन

b. भारत

c. रूस

d. कनाडा

(34) पूर्व पश्चिम गलियारा जोड़ता है।

a. कोलकाता को दिल्ली से

b. सिलचर को पोरबंदर से

c. श्रीनगर को कन्याकुमारी से

d. दिल्ली को मुंबई से

35) मुंबई में सबसे पहला सूती वस्त्र कारखाना स्थापित किया गया क्योंकि

a. मुंबई एक पतन है।

b. मुंबई एक वित्तीय केंद्र था

c. संस्पर्शी कपास उत्पादक क्षेत्र

d. उपयुक्त सभी

Class 12th Model Question Solution

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