Class 12 HIND CORE Hazaribagh Pre Board Examination Answer Key – 2024

Class 12 HIND CORE Hazaribagh Pre Board Examination Answer Key – 2024

 Class 12 HIND CORE Hazaribagh Pre Board Examination Answer Key – 2024

HAZARIBAG PRE-TEST INTERMEDIATE EXAM-2025

[HIND CORE]

पूणीक : 80 कुल समय : 3 घंटे 15 मिनट

सामान्य निर्देश :

1. इस प्रश्न पुस्तिका में दो भाग-भाग-A तथा भाग -B हैं।

2. भाग-A में 30 अंक के बहुविकल्पीय प्रश्न तथा भाग-B में 50 अंक के विषयनिष्ठ प्रश्न है।

3. परीक्षार्थी को अलग से उपलब्ध कराई गई उत्तर पुस्तिका में उत्तर देना है।

4. भाग-A - इसमें 30 बहुविकल्पीय प्रश्न हैं जिनके 4 विकल्प (A, B, C तथा D) हैं। परीक्षार्थी को उत्तर-पुस्तिका में सही उत्तर लिखना है। सभी प्रश्न अनिवार्य है। प्रत्येक प्रश्न 1 अंक का है। गलत उत्तर के लिए कोई अंक काटा नहीं जाएगा।

5. भाग- B - इस भाग में तीन खंड-खंड-A, B तथा C हैं। इस भाग में अति लघु उत्तरीय, लघु उत्तरीय तथा दीर्घ उत्तरीय प्रकार के विषय निष्ठ प्रश्न हैं। कुल प्रश्नों की संख्या 22 है।

खण्ड-A - प्रश्न संख्या 31-38 अतिलघु उत्तरीय है। किन्हीं 6 प्रश्नों के उत्तर दें। प्रत्येक प्रश्न 2 अंक का है।

खण्ड-B - प्रश्न संख्या 39-46 लघुउत्तरीय हैं। किन्हीं 6 प्रश्नों के उत्तर दें। प्रत्येक प्रश्न 3 अंक का है। प्रत्येक प्रश्न का उत्तर अधिकतम 150-200 शब्दों में दें।

खण्ड-C - प्रश्न संख्या 47-52 दीर्घ उत्तरीय हैं। किन्हीं चार' 4' प्रश्नों के उत्तर दें। प्रत्येक प्रश्न 5 अंक का है। प्रत्येक प्रश्न का उत्तर अधिकतम 250-300 शब्दों में हैं।

6. परीक्षार्थी यथासंभव अपने शब्दों में ही उत्तर दें।

7. परीक्षार्थी परीक्षा भवन छोड़ने के पहले अपनी उत्तर-पुस्तिका वीक्षक को अनिवार्य रूप से लौटा दें।

8. परीक्षा समाप्त होने के उपरांत परीक्षार्थी प्रश्न-पुस्तिका अपने साथ लेकर जा सकते हैं।

PART-A भाग - A [बहुविकल्पीय प्रश्न]

प्रश्न संख्या 1 से 30 तक बहुविकल्पीय प्रकार हैं। प्रत्येक प्रश्न के चार विकल्प है। सही विकल्प चुनकर उत्तरपुस्तिका में लिखें। प्रत्येक प्रश्न 1 अंक का है।

निर्देश: निम्नलिखित पद्मांश को ध्यानपूर्वक पढ़‌कर प्रश्न संख्या 1 से 4 के लिए सही विकल्प का चयन करें।

"सूख गई है झील रसवंती

मिट्टी ही बची है नरम, साँवली, सहस्त्रों दुख दरारवाली

अब वे दिन याद आते हैं

इन किनारों से उस किनारे तक अछोर पानी और हवा

पुराने महलों से बातें करता, लता

पश्चिम का वर्षा सूर्य

झील तट के कंकाल पेड़ों पर

तावा करती बैठी होंगी चिड़ि‌याँ

स्त्रियाँ खिन्नमन घाटों से लौट रही होंगी।"

1. रसवंती कौन है?

क) नदी

ख) तालाब

) झील

घ) समुद्र

2. अब क्या बची है?

क) मिट्टी

ख) बालू

) पानी

घ) इनमें से कुछ नहीं

3. झील तट के पेड़ कैसे हो गए हैं ?

क) हरे-भरे

ख) छोटे

ग) कंकाल

घ) बडे

4. कौन पछतावा करके बैठी हैं?

क) जानवर

खं) चिडियाँ

ग) औरतें

घ) बिल्लीयाँ

निर्देश: निम्नलिखित गद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर प्रश्न संख्या 5 से 8 के लिए सही विकल्प का चयन करें।

आत्मविश्वासी मनुष्य का लक्ष्य केन्द्रित होता है। उसका ध्यान अर्जुन की तरह साधना एकलव्य की तरह और निर्भीकता कर्ण की तरह होती है। मनुष्य को सदैव इस मन्त्र का जाप करना चाहिए कि मैं कुछ भी कर सकता हूँ। यदि हमें प्रगति करनी है तो 'अप्पदीपोभवः' के सिद्धांत को स्वीकारना होगा।

5. गद्यांश के लिए उपयुक्त शीर्षक लिखे ?

उत्तर - आत्मविश्वास

6. किसका लक्ष्य केन्द्रित होता है।

क) आलसी

ख) परिश्रमी

ग) आत्मविश्वासी

घ) सहासी

7. ध्यान किसकी तरह होना चाहिए?

क) भीम

ख) अर्जुन

ग) सहदेव

) युधिष्ठिर

8. में "अप्पदीपोभवः" के सिद्धांत को किसके लिए स्वीकार करना होगा।

क) नियति

ख) पतन

ग) प्रगति

घ) ह्रास

9. 'संचार' शब्द की उत्पति 'चर' शब्द से हुई है जिसका अर्थ है-

क) रूकना

ख) चलना

ग) बैठना

घ) हटना

10. रेडियो अस्तित्व में कब आया ?

क) 1885 ई

ख) 1890 ई

ग) 1895 ई

) 1900 ई

11. हिन्दी का प्रथम दैनिक समाचार पत्र कहाँ से प्रकाशित हुआ।

क) इन्दौर

ख) कानपुर

ग) कलकत्ता से

घ) दिल्ली से

12. अनुस्मारक का अंग्रेजी रूपांतर क्या है?

क) अजेंडा

ख) रिमाइंडर

ग) मिनट्स

) सर्कुलर

13. समाचार लेखन की शैली क्या है?

क) पिरामिड

ख) उल्टा पिरामिड

ग) चतुर्भुज

) त्रिभुज

14. विश्व स्तर पर इस समय इंटरनेट पत्रकारिता का कौन सा दौर चल रहा है?

क) पहला दौर

ख) दूसरा दौर

ग) तीसरा दौर।

घ) चौथा दौर

15. समाचार लेखन के कितने ककार होते हैं ?

क) तीन

ख) चार

ग) पाँच

) छः

निर्देश : निम्नलिखित पद्मांश को पढ़‌कर प्रश्न संख्या 16 से 20 के लिए सही विकल्प का चयन करें।

प्रातः नभ था बहुत नीला शंख जैसा

भोर का नभ

राख से लीपा हुआ चौका (अभी गीला पड़ा है)

बहुत काली सिल जरा से लाल केसर से

कि जैसे धुल गई हो

स्लेट पर या लाल खड़िया चाक

मल दी हो किसी ने

16. क्या नीला शंख जैसा था ?

क) संध्या नभ

ख) प्रातः नभ

ग) दोपहर नभ

घ) रात का नभ

17. चौका किससे लीपा प्रतीत होता है?

क) मिट्टी

ख) रंग

ग) राख

घ) चूने

18 उपर्युक्त पंक्तियों का शीर्षक क्या है?

क) उषा

ख) भोर

ग) सवेरा

घ) रात्रि

19. इन पंक्तियों के लेखक कौन हैं?

क) मुक्तिबोध

ख) शमशेर बहादुर सिंह

ग) सुमित्रानंदन पंत

) इनमें से कोई नहीं

20. किस पर लाल खड़ि‌या चाक मल दी गई है?

क) स्लेट पर

ख) शरीर पर

ग) बोर्ड पर

घ) घर पर

21 महादेवी वर्मा किस वाद की कवयित्री है?

क) छायावाद

ख) प्रगतिवाद

ग) प्रयोग वाद

घ) नई कविता

22. कवि किसका भार लिए फिरता है?

क) घर-परिवार का

ख) संसार का

) अपने कार्यालय का

घ) आस-पड़ोस का

23. किसकी आँखो जैसा लाल सवेरा हुआ ?

क) बिल्ली

ख) खरगोश

ग) बंदर

घ) गाय

24. 'कैमरे में बंद अपाहिज कविता के रचानाकार कौन है?

क) त्रिलोचन शास्त्री

ख) केदारनाथ सिंह

ग) रघुवीर सहाय

घ) कुँवर नारायण

25. भक्तिन की चारित्रिक विशेषताएँ हैं -

क) कर्तव्यपरायण

ख) संघर्षशील

ग) स्वाभिमानी

घ) उपरोक्त सभी

26. बाजार का जादू कब असर करता है?

क) ज जेब भरी और मन खाली हो

ख) जब जेब और मन दोनो खाली हो

ग) जब जेब खाली भी न हो और मन भरा हुआ हो

घ) उपरोक्त में से कोई नहीं

27. किसने लुट्टन का पालन पोषण किया ?

क) बुआ

ख) सास

ग) मौसी

) नानी

28. 'सिल्वर वेडिंग' पाठ के आधार पर पश्चिमी सभ्यता के अंधानुकरण के कारण क्या समाप्त होता जा रहा है?

क) मानवीय मूल्य

ख) बड़े-बुजुर्गों के प्रति सम्मान

ग) अपनो के प्रति आत्मीयता

घ) उपरोक्त सभी

29. 'जूझ' कहानी के नायक का मन किसके लिए तरसता था ?

क) भोजन

ख) पढ़ने

ग) कपड़े

) खेलने

30. 'अतीत के दबे पॉ' के लेखक कौन है?

क) ओम थानवी

ख) मनोहर श्याम जोशी

ग) आनन्द यादव

घ) इनमें से कोई नहीं

भाग - B खण्ड - A अति लघु उत्तरीय

प्रश्न किन्हीं छ, प्रश्नों के उत्तर दें। 2×6=12

31. गिरकर बचने का बच्चों पर क्या प्रभाव पड़‌ता है?

उत्तर - यह उनके आत्म-संयम  आत्मविश्वास और आत्म-संरक्षण की भावना को मजबूत करता है।

32. कुँवर नारायण अथवा हरिवंश राय बच्चन की किन्ही दो रचनाओं के नाम लिखें

उत्तर - कुँवर नारायण - चक्रव्यूह, तीसरा सप्तक

हरिवंश राय बच्चन - मधुशाला, मधुबाला

33. सीधी बात किस कारण टेड़ी हो जाती है?

उत्तर- 'बात’ का अर्थ है-भाव, भाषा उसे प्रकट करने का माध्यम है। दोनों का चोली-दामन का साथ है, किंतु कभी-कभी भाषा के चक्कर में सीधी बात भी टेढ़ी हो जाती है। इसका कारण यह है कि मनुष्य शब्दों के चमत्कार में उलझ जाता है। वह इसे गलतफहमी का शिकार हो जाता है कि कठिन तथा नए शब्दों के प्रयोग से वह अधिक अच्छे ढंग से अपनी बात कह सकता है। भाव को कभी भाषा का साधन नहीं बनाना चाहिए।

34. प्रातः कालीन आकाश की तुलना किससे की गई है और क्यों?

उत्तर - प्रातः नभ की तुलना बहुत नीला शंख से की गयी है क्योंकि कवि के अनुसार प्रात:कालीन आकाश (नभ) गहरा नीला प्रतीत हो रहा है। वह नीले शंख के समान पवित्र और उज्ज्वल है।

35. भगत जी क्या बेचा करते थे?

उत्तर - भगत जी चूरन बेचा करते थे।

36. जीजी लेखक (धर्मवीर भारती) से सारे धार्मिक अनुष्ठान क्यों करवाती थी?

उत्तर - जीजी, लेखक से सारे धार्मिक विधि-विधान और पूजा-पाठ नियम से करवाती थी। जैसे दीपावली के बाद गोवर्धन पूजा के लिए गोबर और कोडियों से गोवर्धन और सत्या बनाना। जन्माष्टमी के अवसर पर पंजीरी बाटना और झांकी बनवाना। छोटी रंगीन कुल्हियों में भुजा चना, भुजी मटर, भुजे अरवा चावल और भुजे गेहूं का भुजा भरवाना। जीजी ये सब काम लेखक से इसलिए करवाती थी ताकि लेखक को ये सब करके पुण्य लाभ मिल सके।

37. 'शेर के बच्चे' की उपाधि प्राप्त पहलवान का असली नाम क्या था ?

उत्तर - शेर के बच्चे' की उपाधि प्राप्त पहलवान का असली नाम था चाँद सिंह

38. आनंदा शुरुआत में कविताएँ कहाँ लिखा करता था ?

उत्तर- 'जूझ' कहानी में लेखक प्रारम्भ में खेतों में काम करते करते कविताएँ लिखता।

खण्ड B लघु उत्तरीय प्रश्न 3x 6 = 18

किन्हीं छः प्रश्नों के उत्तर दें।

39. "अवधूत की क्या विशेषता होती है। शिरीष किस प्रकार का अवधूत है?

उत्तर - 'अवधूत' वह है जो सांसारिक मोह माया से ऊपर होता है। वह संन्यासी होता है। लेखक ने शिरीष को कालजयी अवधूत कहा है क्योंकि वह कठिन परिस्थितियों में भी फलता-फूलता रहता है। भयंकर गर्मी, लू, उमस आदि में भी शिरीष का पेड़ फलों से लदा हुआ मिलता है।

40. बाबा साहेब भीमराव अम्बेद‌कर के मत से दासता की व्यापक परिभाषा क्या है?

उत्तर - लेखक के मत में जब किसी व्यक्ति को अपना व्यवसाय चुनने की स्वतंत्रता नहीं होती तो यह भी 'दासता' का व्यापक रूप है अर्थात् पेशा चुनने की स्वतंत्रता न होना 'दासता' है। कानूनी पराधीनता ही 'दासता' नहीं होती। जब किसी व्यक्ति या वर्ग के द्वारा अन्य व्यक्ति के पेशे, कार्य तथा कर्त्तव्य निर्धारित किए जाते हैं तो यह स्थिति भी 'दासता' है।

41. लोगों ने लड़कों की टोली को मेटक-मंडली नाम किस आधार पर दिया? यह टोली अपने आपको इंदर सेना कहकर क्यों बुलाती थी?

उत्तर - गाँव के किशोर, बच्चे कीचड़ में लथपथ होकर गली-गली घूमकर लोगों से पानी माँगते थे। गाँव के कुछ लोगों को लड़कों का नंग-धड़ग होकर कीचड़-कादो में लथपथ होना बुरा लगता था। वे इसे गँवारपन और अंधविश्वास समझते थे इसलिए उन्होंने लड़कों की टोली को मेढक मंडली-नाम दिया था। बच्चों का ऐसा मानना था कि वे इंद्र की सेना के सैनिक है और उसी के लिए वे लोगों से पानी का दान माँगते हैं। अत:वे स्वयं को इंदर सेना के नाम से पुकारते थे।

42. पर्चेजिंग पावर क्या है? इसका दुष्परिणाम क्या होता है?

उत्तर - बाजार में चीजें खरीदते समय उनके बदले पैसा दिया जाता है। धन द्वारा चीजें खरीदने की इस शक्ति को ही ‘पर्चेजिंग’ पावर कहते हैं। इसके दुष्परिणाम निम्न हैं -

1. बाजार में आकर्षक वस्तुएँ देखकर मनुष्य उनके जादू में बँध जाता है।

2. उसे उन वस्तुओं की कमी खलने लगती है।

3. वह उन वस्तुओं को जरूरत न होने पर भी खरीदने के लिए विवश होता है।

4. वस्तुएँ खरीदने पर उसका अह संतुष्ट हो जाता है।

5. खरीदने के बाद उसे पता चलता है कि जो चीजें आराम के लिए खरीदी थीं वे खलल डालती हैं।

6. उसे खरीदी हुई वस्तुएँ अनावश्यक लगती हैं।

43. शीतल वाणी में आग होने का क्या अभिप्राय है?

उत्तर - कवि ने यहाँ विरोधाभास अलंकार का प्रयोग किया है। इस का आशय यह है कि कवि अपनी शीतल और मधुर आवाज में भी जोश, आत्मविश्वास, साहस, दृढ़ता जैसी भावनाएँ बनाए रखते हैं ताकि वह लोगों को जागृत कर सके।

44. 'सबसे तेज बौछारें गई भादो गया" के बाद प्रकृति में जो परिवर्तन कवि ने दिखाया है उसका वर्णन अपने शब्दों में करें?

उत्तर - कवि ने इस पंक्ति में बाल इच्छाओं का प्रकृति के साथ सुंदर चित्रण किया है। कवि कहते हैं कि वर्षा ऋतु के बाद शरद ऋतु आती है, शरद ऋतु में हर तरफ प्रकाश फैला रहता है। शरद ऋतु के आगमन के साथ ही सभी के भीतर उत्साह भर जाता है और फूलों की सुगंध हवा में फैल जाती है।

45. कविता और बच्चे को समानान्तर रखने के क्या कारण हो सकते हैं?

उत्तर - बच्चे और कविता दोनों अपने स्वतंत्र स्वभाव के साथ खेलते हैं। खेल में उनके बीच कोई सीमा नहीं होती। उनके अपने लोगों के बीच कोई अंतर नहीं है, रंग और जाति से कोई नफरत नहीं है, बच्चे अपने बीच के सभी मतभेदों को भूल जाते हैं। जिस तरह एक शरारती बच्चा किसी की पकड़ में नहीं आता ठीक उसी प्रकार कविता में उलझा दी गई एक बात तमाम प्रयास के बावजूद समझने योग्य नहीं रह जाती। इसके लिए चाहे जितनी प्रयास किए जाये वे शरारती बच्चे की तरह हाथ से फिसल  ही जाता है।

46. भाषा को सहूलियत से बरतने का क्या अर्थ है?

उत्तर - भाषा को सहूलियत से बरतने से अभिप्राय यह है कि कवि को भावानुकूल भाषा का ही प्रयोग करना चाहिए। सीधी-सरल बात को सरल, सुबोध भाषा में व्यक्त करना ही उचित होता है। अनावश्यक दुरूह भाषा का प्रयोग करने से भावों का सौन्दर्य, स्वाभाविकता तथा मौलिकता नष्ट हो जाती है।

खण्ड-C दीर्घ उत्तरीय प्रश्न 

किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दें 5×4=20

47. 'मोबाईल फोन का बच्चों पर खतरा, शीर्षक पर निबंध लिखें।

उत्तर - आज का युग डिजिटल युग है और मोबाइल फोन इस युग का सबसे महत्वपूर्ण उपकरण बन गया है। यह हमारे जीवन का अभिन्न हिस्सा बन चुका है। लेकिन क्या हमने कभी सोचा है कि यह हमारे बच्चों के लिए कितना खतरनाक साबित हो सकता है?

मोबाइल फोन का बच्चों पर गहरा असर पड़ रहा है। यह उनके शारीरिक, मानसिक और सामाजिक विकास को प्रभावित कर रहा है। आइए, विस्तार से जानते हैं कि कैसे:

शारीरिक स्वास्थ्य पर खतरा

• आंखों की समस्या: मोबाइल फोन की नीली रोशनी बच्चों की आंखों को नुकसान पहुंचाती है। इससे उन्हें धुंधला दिखाई देने की समस्या, आंखों में जलन और सिरदर्द जैसी समस्याएं हो सकती हैं।

• शारीरिक गतिविधियों में कमी: मोबाइल गेम्स और सोशल मीडिया में व्यस्त रहने के कारण बच्चे शारीरिक गतिविधियों से दूर हो जाते हैं। इससे उनमें मोटापा और अन्य स्वास्थ्य समस्याएं पैदा हो सकती हैं।

• नींद की कमी: मोबाइल फोन की रोशनी नींद के हार्मोन मेलाटोनिन को प्रभावित करती है। इससे बच्चों को नींद नहीं आती है और वे दिन में थके-थके रहते हैं।

मानसिक स्वास्थ्य पर खतरा

• तनाव और चिंता: सोशल मीडिया पर दूसरों से तुलना करने से बच्चों में तनाव और चिंता बढ़ सकती है।

• अकेलापन: मोबाइल फोन में व्यस्त रहने के कारण बच्चे अपने आसपास के लोगों से दूर हो जाते हैं। इससे उन्हें अकेलापन महसूस होता है।

• व्यसन: मोबाइल गेम्स और सोशल मीडिया का अत्यधिक उपयोग बच्चों को इनका आदी बना सकता है।

• हिंसा और अश्लील सामग्री: इंटरनेट पर उपलब्ध हिंसा और अश्लील सामग्री बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य को गंभीर रूप से प्रभावित कर सकती है।

सामाजिक विकास पर खतरा

• सामाजिक कौशल में कमी: मोबाइल फोन में व्यस्त रहने के कारण बच्चे दूसरों के साथ बातचीत करने और रिश्ते बनाने के मौके गंवा देते हैं।

• अध्ययन पर प्रभाव: मोबाइल फोन का अत्यधिक उपयोग बच्चों के अध्ययन पर नकारात्मक प्रभाव डालता है।

• सुरक्षा का खतरा: अजनबियों से बातचीत करने और ऑनलाइन धोखेबाजी के शिकार होने का खतरा बढ़ जाता है।

निष्कर्ष

मोबाइल फोन बच्चों के लिए एक अभिशाप बन सकता है यदि इसका उपयोग संयमित तरीके से नहीं किया जाए। माता-पिता को बच्चों को मोबाइल फोन के उपयोग के बारे में जागरूक करना चाहिए और उन्हें इसका सही उपयोग करने के लिए प्रेरित करना चाहिए। साथ ही, स्कूलों को भी बच्चों को डिजिटल साक्षरता सिखाने पर ध्यान देना चाहिए।

मोबाइल फोन को वरदान बनाना है या अभिशाप, यह हमारे हाथ में है।

अथवा

"देश में बढ़ती डिजिटल अपराध' शीर्षक पर निबंध लिखें।

उत्तर - आज का युग डिजिटल युग है। टेक्नोलॉजी ने हमारे जीवन को आसान बना दिया है, लेकिन साथ ही, इसने नए प्रकार के अपराधों को भी जन्म दिया है। इन अपराधों को डिजिटल अपराध कहा जाता है। भारत में भी डिजिटल अपराधों में तेजी से वृद्धि हो रही है।

डिजिटल अपराध क्या हैं?

डिजिटल अपराध वे अपराध हैं जो इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों का उपयोग करके किए जाते हैं। इनमें साइबर धोखाधड़ी, हैकिंग, डेटा चोरी, ऑनलाइन उत्पीड़न, बाल यौन शोषण आदि शामिल हैं।

डिजिटल अपराधों के कारण

• इंटरनेट का व्यापक उपयोग: इंटरनेट का उपयोग तेजी से बढ़ रहा है। लोग ऑनलाइन बैंकिंग, शॉपिंग, सोशल मीडिया आदि का उपयोग करते हैं। इससे डिजिटल अपराधियों के लिए अवसर बढ़ जाते हैं।

• जागरूकता का अभाव: लोगों में डिजिटल अपराधों के बारे में जागरूकता की कमी है। वे अक्सर फिशिंग हमलों, पासवर्ड लीक आदि के शिकार हो जाते हैं।

• कमजोर सुरक्षा प्रणाली: कई संगठनों और व्यक्तियों की सुरक्षा प्रणाली कमजोर होती है। इससे हैकर्स आसानी से उनके सिस्टम में घुस सकते हैं।

• कानून का कमजोर होना: डिजिटल अपराधों से निपटने के लिए कानून अभी भी पूरी तरह से विकसित नहीं हुए हैं।

डिजिटल अपराधों के प्रभाव

• आर्थिक नुकसान: डिजिटल अपराधों से लोगों को आर्थिक नुकसान होता है। साइबर धोखाधड़ी, डेटा चोरी आदि से लोग अपना पैसा खो देते हैं।

• व्यक्तिगत जानकारी का दुरुपयोग: डिजिटल अपराधी लोगों की व्यक्तिगत जानकारी का दुरुपयोग करते हैं। इससे लोगों की प्रतिष्ठा खराब हो सकती है और उन्हें मानसिक तनाव हो सकता है।

• राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा: डिजिटल अपराध राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए भी खतरा हैं। हैकर्स सरकारी वेबसाइटों और डेटाबेस को हैक कर सकते हैं।

निष्कर्ष और सुझाव

डिजिटल अपराध एक गंभीर समस्या है। इससे निपटने के लिए हमें सभी को मिलकर काम करना होगा।

• जागरूकता बढ़ाना: लोगों को डिजिटल अपराधों के बारे में जागरूक करना होगा। उन्हें सुरक्षित पासवर्ड बनाने, सार्वजनिक वाई-फाई का उपयोग न करने और फिशिंग हमलों से सावधान रहने के बारे में शिक्षित करना होगा।

• कानून को मजबूत बनाना: डिजिटल अपराधों से निपटने के लिए कानून को मजबूत बनाना होगा। अपराधियों को कड़ी सजा दी जानी चाहिए।

• सुरक्षा प्रणाली को मजबूत बनाना: संगठनों और व्यक्तियों को अपनी सुरक्षा प्रणाली को मजबूत बनाना होगा। उन्हें नियमित रूप से सॉफ्टवेयर अपडेट करना चाहिए और मजबूत फायरवॉल का उपयोग करना चाहिए।

• साइबर सुरक्षा विशेषज्ञों को प्रशिक्षित करना: साइबर सुरक्षा विशेषज्ञों को प्रशिक्षित करना होगा ताकि वे डिजिटल अपराधों से लड़ सकें।

• अंतरराष्ट्रीय सहयोग: डिजिटल अपराध एक अंतरराष्ट्रीय समस्या है। इसलिए, देशों को मिलकर काम करना होगा और डिजिटल अपराधियों के खिलाफ कार्रवाई करनी होगी।

डिजिटल अपराधों से लड़ना एक लंबी लड़ाई है। लेकिन अगर हम सभी मिलकर काम करेंगे तो हम इस समस्या पर काबू पा सकते हैं।

48. शहर की बिजली व्यवस्था दुरुस्त करने हेतु विभाग को पत्र लिखें।

उत्तर -

सेवा में,

विद्युत अभियंता,

बिजली बोर्ड, राँची ।

विषय : सिंह मोड़, विकास नगर में अनियमित विद्युत आपूर्ति के सम्बन्ध में ।

महोदय,

श्रीमान से अनुरोध है कि विगत कई माह से मेरे मुहल्ले में विद्युत आपूर्ति पूर्णतः अनियमित रूप में हो रही है। कभी दो-तीन दिनों तक विद्युत आपूर्ति होती नहीं, कभी उसकी आँख-मिचौनी का खेल और कभी लो बोल्टेज के कारण हम लोग त्रस्त हैं। इससे हमारी पढ़ाई में काफी व्यवधान उत्पन्न होता है। इस मुहल्ले में छोत्रों की अधिकता है। मैं स्वयं भी मेडिकल टेस्ट परीक्षा की तैयारी कर रहा हूँ।

अतः श्रीमान् से अनुरोध है कि इस मुहल्ले की विद्युत-व्यवस्था में सुधार लाने की कृपा की जाय ।

विश्वास भाजन

आलोक कुमार

दिनांक 22 फरवरी,2020

विकास नगर, सिंह मोड़, राँची

अथवा

शहर के बीच स्थित पेट्रोल पम्प में लगी आग पर एक रिर्पोट लिखें।

उत्तर - तारीख: 13.12.24

समय: 10 AM

स्थान: कॉलेज मोड, हजारीबाग स्थित कारगिल पेट्रोल पंप

घटना का संक्षिप्त विवरण:

हजारीबाग के व्यस्ततम क्षेत्रों में स्थित कारगिल पेट्रोल पंप में आज 13.12.24 को 10 AM के लगभग भीषण आग लग गई। आग की लपटें इतनी तेज थीं कि आसपास के इलाकों में धुआं का गुबार छा गया। घटनास्थल पर पहुंची दमकल की गाड़ियों ने काफी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया।

घटना के कारण:

आग लगने के सटीक कारणों का अभी तक पता नहीं चल पाया है। हालांकि, प्रारंभिक जांच में यह बात सामने आई है कि आग शायद शॉर्ट सर्किट, लापरवाही से सिगरेट फेंकना, या अन्य] के कारण लगी होगी।

नुकसान का आकलन:

आग लगने से पेट्रोल पंप को भारी नुकसान हुआ है। पेट्रोल पंप की कई मशीनें और संरचनाएं पूरी तरह से जलकर खाक हो गई हैं। आग की चपेट में आने से आसपास की कुछ दुकानें और वाहन भी क्षतिग्रस्त हो गए हैं। सटीक आर्थिक नुकसान का आकलन अभी किया जा रहा है।

राहत और बचाव कार्य:

घटना की सूचना मिलते ही दमकल विभाग की गाड़ियां मौके पर पहुंच गईं। दमकलकर्मियों ने काफी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। इस दौरान किसी के हताहत होने की सूचना नहीं है।

प्रशासन का रवैया:

जिला प्रशासन ने इस घटना को गंभीरता से लिया है। जिलाधिकारी ने घटनास्थल का दौरा किया और अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए हैं। पुलिस ने इस मामले में मामला दर्ज कर लिया है और आग लगने के कारणों की जांच शुरू कर दी है।

स्थानीय लोगों की प्रतिक्रिया:

स्थानीय लोगों में इस घटना को लेकर काफी आक्रोश है। लोग प्रशासन से मांग कर रहे हैं कि आग लगने के कारणों का जल्द से जल्द पता लगाया जाए और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।

49. इंटरनेट तेजी से लोकप्रिय क्यों हो रहा है? किन्ही तीन कारणों को लिखें ?

उत्तर - इंटरनेट आजकल हमारे जीवन का एक अभिन्न हिस्सा बन गया है। चाहे हम पढ़ाई कर रहे हों, काम कर रहे हों या फिर मनोरंजन कर रहे हों, इंटरनेट हमेशा हमारी मदद के लिए मौजूद रहता है। लेकिन सवाल यह उठता है कि आखिर क्यों इंटरनेट इतनी तेजी से लोकप्रिय हो रहा है? आइए इसके कुछ प्रमुख कारणों पर नजर डालते हैं:

1. सूचना का अथाह भंडार:

इंटरनेट सूचना का एक विशाल भंडार है। किसी भी विषय पर जानकारी प्राप्त करने के लिए हमें बस कुछ क्लिक करने की जरूरत होती है। चाहे आप किसी ऐतिहासिक घटना के बारे में जानना चाहते हों, किसी वैज्ञानिक सिद्धांत को समझना चाहते हों या किसी नए व्यंजन की रेसिपी ढूंढ रहे हों, इंटरनेट पर सब कुछ मौजूद है।

2. जीवन को आसान बनाना:

इंटरनेट ने हमारे जीवन को कई तरह से आसान बना दिया है। हम ऑनलाइन शॉपिंग कर सकते हैं, बिलों का भुगतान कर सकते हैं, टिकट बुक कर सकते हैं और बहुत कुछ। हमें घर से बाहर निकलने की जरूरत नहीं है। इसके अलावा, इंटरनेट ने संचार को भी बहुत आसान बना दिया है। हम दुनिया के किसी भी कोने में बैठे अपने दोस्तों और परिवार के सदस्यों से वीडियो कॉल के माध्यम से बात कर सकते हैं।

3. मनोरंजन का एक अनंत स्रोत:

इंटरनेट मनोरंजन का एक अनंत स्रोत है। हम ऑनलाइन गेम खेल सकते हैं, मूवी और वेब सीरीज देख सकते हैं, संगीत सुन सकते हैं और सोशल मीडिया पर अपने दोस्तों के साथ जुड़ सकते हैं। इंटरनेट ने हमें मनोरंजन के नए तरीके दिए हैं।

50. "कैमरे में बंद अपाहिज" करूणा के मुखौटे में छिपी क्रूरता की कविता है - स्पष्ट करें।

उत्तर - कवि ने इस कविता के माध्यम से विकलांगता और उसके बाजार को बहुत अच्छी तरह से समझाने कि कोशिश की है। लोग हमेशा ही विकलांगो को दया दिखाते हैं और यह अच्छी बात है परन्तु कुछ लोग ऐसे भी होते हैं जो बस दयावान होने का दिखावा करते हैं। दूरदर्शन पर एक कार्यक्रम दिखाया जा रहा है जिसमें एक विकलांग को कैमरे के सामने लाकर उसके प्रति सहानुभूति दिखाई जाती है। यह बस इसलिए किया जा रहा है ताकि वह कार्यक्रम सफल हो जाए। ऐसी झूठी करुणा को देखकर मन दुखी हो जाता है। यह हमारे वर्तमान के समाज की सच्चाई है जो बस पैसे को महत्व देती है। आज समाज में करुणा बस एक शब्द बनकर रह गया है।

51. भक्तिन के आ जाने से महादेवी वर्मा अधिक देहाती हो गई। कैसे?

उत्तर - भक्तिन के आ जाने के बाद महादेवी को देहात की संस्कृति, रहन-सहन, खान-पान, वेशभूषा आदि का ज्ञान हो गया था। उसने लेखिका का मीठा खाना बिल्कुल बंद कर दिया। उसने गाढ़ी दाल व मोटो रोटी खिलाकर लेखिका की स्वास्थ्य सम्बन्धी चिंता दूर कर दी। थी। देहाती भोजन को लेखिका स्वाद से खाने लगी। इससे पहले वह केवल शहरी जीवन से ही जुड़ी हुई थीं। इसके साथ ही भक्तिन ऐसी परिस्थितियाँ भी उत्पन कर देती थी कि वह देहाती परम्पराएँ तक निभाने के लिए बाध्य हो जाती थीं। इसके अतिरिक्त उसने महादेवी देहाती भाषा भी सिखा दी। इस प्रकार भक्तिन के आ जाने से महादेवी भी अधिक देहाती बन गईं।

52. क्या सिन्धु घाटी सभ्यता को जल संस्कृति कह सकते हैं ? उदाहरण सहित उत्तर दे।

उत्तर - लेखक ने सिंधु घाटी सभ्यता को जल सभ्यता इसीलिए कहा है क्योंकि मोहनजोदड़ो के पास से निकलकर बहती हुई सिंधु नदी स्नानागार शहरों में बेजोड़ जल निकास तथा कुँए की व्यवस्था सिंधु घाटी सभ्यता में थी।

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