Class 12 Geography Model Paper Solution 2023-24

Class 12 Geography Model Paper Solution 2023-24

झारखण्ड शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद, राँची

वार्षिक माध्यमिक परीक्षा

(2023-2024)

Model Question Paper

कक्षा-12

विषय-Geography

समय- 3 घंटा

पूर्णांक - 70

सामान्य निर्देश:-

• परीक्षार्थी यथासंभव अपने शब्दों में उत्तर दें।

सभी प्रश्न अनिवार्य हैं।

कुल प्रश्नों की संख्या 48 है।

प्रश्न 1 से 25 तक बहुविकल्पिय प्रश्न हैं। प्रत्येक प्रश्न के चार विकल्प दिए गए हैं। सही विकल्प का चयन कीजिये। प्रत्येक प्रश्न के लिए 01 अंक निर्धारित है।

• प्रश्न संख्या 26 से 34 तक अति लघु उत्तरीय प्रश्न है। जिसमे से किन्ही 7 प्रश्नों का उत्तर देना अनिवार्य है। प्रत्येक प्रश्न का मान। अंक निर्धारित है।

• प्रश्न संख्या 35 से 42 तक लघु उत्तरीय प्रश्न है। जिसमे से किन्ही 6 प्रश्नों का उत्तर देना अनिवार्य है। प्रत्येक प्रश्न का मान 3 अंक निर्धारित है।

• प्रश्न संख्या 43 से 48 दीर्घ उत्तरीय प्रश्न है। किन्हीं 4 प्रश्नों का उत्तर देना अनिवार्य है। प्रत्येक प्रश्न का मान 5 अंक निर्धारित है।

1."मानव भूगोल मानव समाज और धरातल के बीच संबंधों का संश्लेषित अध्ययन है।" यह कथन किसका है?

a. फ्रेडरिक रैटजेल

b. एलेन सी सेंपल

c. विडाल-डी-ला-ब्लाश

d. अलेक्जेंडर वॉन हम्बोल्ट ।

2. रुको और जाओ निश्चयवाद संकल्पना किसने प्रस्तुत किया ?

a. ग्रिफिथ टेलर

b. एलेन सी सेंपल

c. विडाल-डी-ला-ब्लाश

d. लुसियान फैब्रे।

3. 21वीं शताब्दी के प्रारंभ में विश्व की जनसंख्या कितनी दर्ज की गई थी ?

a. 500 करोड़ से अधिक

b. 600 करोड़ से अधिक

c. 700 करोड़ से अधिक

d. 800 करोड़ से अधिक।

4. निम्नलिखित में से मानव विकास सूचकांक का निर्माण किसने किया?

a. डॉ महबूब - उल-हक

b. डॉ अमर्त्य सेन

c. डॉ मनमोहन सिंह

d. एडम स्मिथ

5. मानव विकास के मुख्य उपागमों में किसे सम्मिलित नहीं किया गया है?

a. आय उपागम

b. कल्याण उपागम

c. न्यूनतम आवश्यकता उपागम

d. उत्पादकता उपागम।

6. जंग का कटोरा निम्नलिखित में से किस क्षेत्र को कहा जाता है ?

a. महान झील क्षेत्र

b. पीटर्सबर्ग क्षेत्र

c. अलाबामा क्षेत्र

d. अटलांटिक तट क्षेत्र।

7. आयात - निर्यात के बीच मूल्य में अंतर को क्या कहते हैं?

a. व्यापार संतुलन

b. असंतुलित व्यापार

c. विलोम व्यापार

d. अनुकूल व्यापार संतुलन

8. हिमाच्छादित क्षेत्र में स्लेज गाड़ी को खींचने के लिए किन पशुओं की मदद ली जाती है?

a. कुत्तों एवं रेनडियरों

b. घोड़ो एवं गधों

c. ऊंटों एवं जिराफों

d. बैलों एवं भैंसों।

9. इनमे से कौन सा देश सार्क देशों में शामिल नही है?

a. भारत

b. पाकिस्तान

c. मालदीव

d. अफगानिस्तान

10. भारत की जनगणना के अनुसार निम्नलिखित में से कौन सी एक विशेषता नगर की परिभाषा का अंग नहीं है?

a. जनसंख्या घनत्व 400 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर

b. नगरपालिका, निगम का होना

c. 75% से अधिक जनसंख्या का प्राथमिक खंड में संलग्न होना।

d. जनसंख्या आकर 5000 व्यक्तियों से अधिक होना।

11. जमशेदपुर किस प्रकार का नगर है?

a. औद्योगिक नगर

b. खनन नगर

c. पर्यटन नगर

d. इनमें से कोई नहीं

12. टुन्ड्रा क्षेत्र में एस्किमो द्वारा बर्फ के टुकड़ों से बनाए गए घर को क्या कहा जाता है?

a. क्रॉल

b. इग्लू

c. यूर्त

d. इनमें से कोई नहीं

13. निम्नलिखित बस्तियों के प्रतिरूप में से कौन सा सड़कों के किनारे विकसित होता है ?

a. आयताकार प्रतिरूप

b. टी - आकार प्रतिरूप

c. तारे के आकार का प्रतिरूप

d. रैखिक प्रतिरूप

14. निम्नलिखित में से कौन सा सिंचित क्षेत्र में भूमि निम्नीकरण का मुख्य प्रकार है?

a. अवनलिका अपरदन

b. वायु अपरदन

c. मृदा लवणता

d. भूमि पर सिल्ट का जमाव

15. सामूहिक कृषि को सोवियत संघ में किस नाम से जाना जाता है?

a. फजेंडा

b. कोलखहोज

c. ट्रक फार्मिंग

d. पुष्पोत्पादन

16. जल संसाधनों का संरक्षण क्यों जरूरी है?

a. जल की कमी के लिए

b. बढ़ती मांग और तेजी से फैलते प्रदूषण की दृष्टि से

c. स्थानिक और ऋतुवत असमानता

d. उपर्युक्त सभी

17. 'स्वर्ण कॉलर' कहे जाने वाले व्यवसाय किस सेक्टर के उप-विभाग होते हैं?

a. प्राथमिक सेक्टर

b. द्वितीयक सेक्टर

c. तृतीयक सेक्टर

d. इनमें से कोई नहीं

18. उद्योगों की जननी किस खनिज को कहा जाता है?

a. लौह अयस्क

b. मैंगनीज

c. कोयला

d. तांबा

19. निम्नलिखित में से किस स्थान पर पहला परमाणु उर्जा स्टेशन स्थापित किया गया था ?

a. कलपक्कम

b. राणाप्रताप सागर

c. नरौरा

d. तारापुर

20. जल संभर विकास और प्रबंधन द्वारा चलाई जाने वाली कार्यक्रम नीरू मीरु का संबंध किस राज्य से है?

a. राजस्थान

b. आंध्र प्रदेश

c. झारखंड

d. मध्य प्रदेश

21. स्वेज नहर किन दो सागरों को आपस में जोड़ता है?

a. भूमध्य सागर - काला सागर

b. भूमध्य सागर - लाल सागर

c. भूमध्य सागर अरब सागर

d. काला सागर - लाल सागर

22. निम्न में से कौन सा घास स्थल ऑस्ट्रेलिया में स्थित है?

a. प्रेयरी

b. डाउण्स

c. स्टेपी

d. वेल्ड

23. प्रतिकर्ष और अपकर्ष कारक उतरदायी है

a. प्रवास के लिए

b. गन्दी बस्तियों के लिए

c. भूमि निम्नीकरण के लिए

d. वायु प्रदुषण के लिए

24. 2011 की जनगणना के अनुसार भारत की कुल जनसंख्या कितनी है?

a. 102.70 करोड़

b. 121.02 करोड़

c. 118.15 करोड़

d. इनमें से कोई नहीं

25. डायमंड हार्बर किस नदी पर स्थित है?

a. हुगली नदी

b. गंगा नदी

c. महानदी

d. गोदावरी नदी

अति- लघु उतरीय प्रश्न

निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्ही सात प्रश्नों का उत्तर दें।

26. संभववाद क्या है ?

उत्तर - ऐसा विचारधारा जिसके अनुसार मानव अपने इच्छा व आवश्यकता के अनुसार अपना बुद्धि का प्रयोग करके प्राकृतिक संसाधनों का उपयोग कर सकता है। अर्थात प्रकृति को परिवर्तन करने में मानव सक्षम है।

27. जनसंख्या वृद्धि को परिभाषित करें।

उत्तर - किसी निश्चित प्रदेश में निश्चित समय अवधि में निवास करने वाले लोगों की जनसंख्या के आकार में परिवर्तन होना जनसंख्या वृद्धि कहलाता है।

28. गहन कृषि किसे कहते हैं?

उत्तर - अत्यधिक जनसंख्या वाले प्रदेश में कम भूमि पर आधुनिक तकनीक की सहायता से फसलों का ज्यादा उत्पादन करना गहन कृषि कहलाता है।

29. विनिर्माण उद्योग से आप क्या समझते हैं ?

उत्तर - विनिर्माण उद्योग का शाब्दिक अर्थ है मशीनों की सहायता से बड़े पैमाने पर वस्तुओं का उत्पादन करना या  निर्माण करना विनिर्माण उद्योग कहलाता है।

30. पल्ली बस्तियां किसे कहते हैं?

उत्तर - वैसी बस्तियां जो पहाड़ों के निचले भागों में संकीर्ण रास्तौ के सहारे बसाया जाता है पल्ली बस्ती कहलाते हैं।

31. सततपोषणीय विकास क्या है

उत्तर - वैसा विकास जिसमें संसाधनों का उपयोग पर्यावरण को नुकसान पहुंचाए बिना व भावी पीढ़ी को ध्यान में रखकर किया जाता है

32. ऋतु प्रवास क्या है ?

उत्तर - मौसम व ऋतु परिवर्तन के कारण जब कोई भी व्यक्ति व परिवार का समूह एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाता है तो उसे ऋतु प्रवास कहते हैं

33. व्यापार संतुलन से आपका क्या तात्पर्य है?

उत्तर - किसी भी देश के निर्यात और आयात में अंतर को व्यापार संतुलन कहते हैं।

34. औद्योगीकरण की प्रक्रिया से कौन से प्रदूषण मुख्य रूप से उत्पन्न होते हैं?

उत्तर - वायु प्रदूषण, जल प्रदूषण, मृदा प्रदूषण

लघु उत्तरीय प्रश्न

निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं छः प्रश्नों का उत्तर दें।

35. प्रकृति का मानवीकरण को स्पष्ट करें ?

उत्तर - प्रकृति का मानवीकरण:

(i) समय के साथ लोग अपने पर्यावरण और प्रकृति की शक्तियों को समझने लगते हैं।

(ii) सामाजिक और सांस्कृतिक विकास के साथ, मनुष्य बेहतर और अधिक कुशल तकनीक विकसित करता है।

(iii) मनुष्य आवश्यकता की स्थिति से स्वतंत्रता की स्थिति की ओर बढ़ता है।

(iv) वे पर्यावरण से प्राप्त संसाधनों से संभावनाएँ पैदा करते हैं।

(v) मानवीय गतिविधियाँ सांस्कृतिक परिदृश्य का निर्माण करती हैं।

(vi) मानवीय गतिविधियों के निशान स्वास्थ्य रिसॉर्ट्स, विशाल शहरी विस्तार, मैदानों और पहाड़ियों में खेत, बगीचे और चरागाह, तटों पर बंदरगाह और अंतरिक्ष में उपग्रह हैं।

36. जल परिवहन के तीन लाभ बताएं।

उत्तर - जल परिवहन के निम्न लाभ है-

1. जल परिवहन मार्ग निर्माण की आवश्यकता नहीं होती है जैसा सड़क और रेल नेटवर्क में होती हैं। पृथ्वी पर विशाल महासागर एक दूसरे से जुड़े हुए हैं और विभिन्न आकार के जहाजों के चलने के लिए आदर्श हैं। इसे केवल दो सिरों पर सुविधाओं के लिए पत्तनों की जरूरत होती है।

2. जल परिवहन बहुत सस्ता है क्योंकि पानी पर घर्षण भूमि की तुलना में बहुत कम है जिससे ऊर्जा की कम लागत होती है।

3. यह पर्यावरण के अनुकूल है क्योंकि इसे भूमि और वायुमार्ग द्वारा समान दूरी के परिवहन के लिए बहुत कम ऊर्जा की आवश्यकता होती है।

4. इसे रेल और सड़क नेटवर्क जैसा रखरखाव की आवश्यकता नहीं होती है।

5. घने जंगलों वाले क्षेत्रों में परिवहन के लिए जल परिवहन (नदियाँ ) सबसे उपयुक्त परिवहन साधन हैं।

6. जल परिवहन कोयला, लौह अयस्क, सीमेंट और लकड़ी जैसे भारी माल के परिवहन के लिए आदर्श है।

7. यह सड़क, रेलवे और वायुमार्ग की तुलना में परिवहन का अपेक्षाकृत सुरक्षित साधन है।

37. आकार के आधार पर उद्योगों को कितने वर्गों में विभाजित किया जाता है? किसी एक का संक्षिप्त वर्णन करें

उत्तर- आकार के आधार पर उद्योगों के तीन प्रकार निम्नलिखित हैं

1. कुटीर उद्योग – यह विनिर्माण की सबसे छोटी इकाई है। इसे ‘शिल्प उद्योग’ भी कहा जाता है। इसमें दस्तकार अपनी पैतृक दक्षता के आधार पर अपने परिवार के सदस्यों के साथ मिलकर स्थानीय कच्चे माल का प्रयोग करते हुए सरल विधियों से अपने घर पर ही छोटी-छोटी वस्तुओं का निर्माण करते हैं। तैयार माल का या तो वह स्वयं उपभोग करता है अथवा उसे स्थानीय बाजार में बेच देता है। कभी-कभी वह वस्तु-विनिमय भी करता है। ये उद्योग पूँजी व परिवहन से प्रभावित नहीं होते हैं। इन उद्योगों में दैनिक जीवन में काम आने वाली वस्तुओं जैसे खाद्य पदार्थ, कपड़ा, बर्तन, औजार, फर्नीचर, जूते एवं लघु मूर्तियाँ आदि बनाई जाती हैं।

2. छोटे पैमाने के उद्योग (लघु उद्योग) – यह उद्योग कुटीर उद्योग का विस्तृत एवं संशोधित रूप है। इसमें स्थानीय कच्चे माल का उपयोग किया जाता है। इस उद्योग में अर्द्धकुशल श्रमिक व शक्तिचालित यन्त्रों का प्रयोग किया जाता है। रोजगार के अवसर इस उद्योग में अधिक होते हैं।

3. बड़े पैमाने के उद्योग – बड़े पैमाने के उद्योग की विशेषताएँ हैं—विशाल बाजार, विभिन्न प्रकार का कच्चा माल, शक्ति साधन, कुशल श्रमिक, विकसित प्रौद्योगिकी, अधिक उत्पादन एवं अधिक पूँजी। वर्तमान में इन उद्योगों का विस्तार विश्व के सभी क्षेत्रों में है। बड़े पैमाने पर हुए विनिर्माण की प्रणाली के आधार पर विश्व के प्रमुख औद्योगिक प्रदेशों को दो बड़े समूहों में विभक्त किया जा सकता है

⦁ बड़े पैमाने के परम्परागत औद्योगिक प्रदेश, एवं

⦁ उच्च प्रौद्योगिकी वाले बड़े पैमाने के औद्योगिक प्रदेश।

38. ग्रामीण बस्तियों के मुख्य समस्याओं को लिखें।

उत्तर - ग्रामीण बस्तियों की प्रमुख समस्याएँ निम्नलिखित हैं

1. पेयजल का अभाव – संसार के अधिकतर गाँवों में पेयजल की गम्भीर समस्या है। महिलाओं व बच्चों को कई-कई किमी दूर से पानी लाना पड़ता है। रेगिस्तानी और पर्वतीय भागों में पेयजल की समस्या अत्यधिक गम्भीर है।

2. जलवाहित रोग – पेयजल की गुणवत्ता ठीक न होने से जलवाहित रोग जैसे हैजा, पीलिया आदि फैलते हैं।

3. बाढ़ और सूखा – दक्षिण एशिया के देशों के गाँव बाढ़ और सूखे दोनों की ही मार सहने को अभिशप्त हैं। सिंचाई के अभाव में सूखा पड़ने पर फसलों को भारी हानि होती है।

4.शौचालयों और कचरे की समस्या – गाँव में शौचालयों के न होने से महिलाओं को अधिक कठिनाई उठानी पड़ती है। वे इसी कारण अनेक रोगों का शिकार हो जाती हैं। गाँवों में कचरे की निपटान की कोई सुचारु व्यवस्था नहीं है।

5. मानव और पशु एक साथ – पशुओं को और उनके चारे को अपने घर में या घर के अति निकट घेर में रखना किसान की मजबूरी है, लेकिन इससे अनेक रोगों के फैलने का खतरा बना रहता है।

6. परिवहन और संचार साधनों का अभाव – गाँव में पक्की सड़कों का अभाव है। टेलीफोन सविधा सभी गाँवों में नहीं है, अत: आपातकाल में गाँव शेष दुनिया से कट जाते हैं। अनेक गाँव वर्षा ऋतु में सम्पर्कविहीन बने रहते हैं।

7.स्वास्थ्य और शिक्षा का अभाव – गाँवों में स्वास्थ्य और शिक्षा का अभाव है। यदि कहीं सुविधा है भी तो उसका स्तर बहुत घटिया है।

39. शुष्क और आद्र कृषि में अंतर लिखें।

उत्तर - शुष्क भूमि और आर्द्रभूमि कृषि के बीच निम्नलिखित अंतर हैं:

1. भारत में, शुष्क भूमि की खेती प्रायः 75 सेमी से कम वार्षिक वर्षा वाले क्षेत्रों में की जाती है, जबकि आर्द्रभूमि की खेती 75 सेमी से अधिक वार्षिक वर्षा वाले क्षेत्रों में की जाती है।

2. शुष्क भूमि वाले कृषि क्षेत्र को सूखे की समस्या का सामना करना पड़ा क्योकि इन क्षेत्रो में वर्षा ऋतु में भी मृदा में नमी की कमी होती है जबकि आर्द्रभूमि कृषि क्षेत्र को बाढ़ और मिट्टी के कटाव की समस्याओं का सामना करना पड़ता है क्योकि वर्षा ऋतु में मृदा में जल की अधिकता होती है।

3. शुष्क भूमि वाले कृषि क्षेत्र में वर्षा ऋतु में भी आर्द्र संरक्षण और वर्षा जल के कुशल प्रयोग के अनेक विधियाँ अपनायी जाती है जबकि आर्द्रभूमि कृषि क्षेत्र में इसकी आवश्यकता नहीं पड़ती है।

4. शुष्क भूमि के महत्वपूर्ण क्षेत्र गुजरात, राजस्थान, महाराष्ट्र, कर्नाटक, तेलंगाना और तमिलनाडु के वर्षा छाया क्षेत्र हैं, जबकि बिहार, उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल आदि में आर्द्रभूमि खेती के महत्वपूर्ण क्षेत्र हैं।

5. शुष्क भूमि पर रागी जैसी मोटे और सूखा प्रतिरोधी फसलें उगाई जाती हैं जबकि आर्द्रभूमि की खेती में धान और जूट जैसी विभिन्न जल-गहन और महीन फसलें उगाई जाती हैं।

6. शुष्क भूमि की खेती की महत्वपूर्ण फसलें रागी, बाजरा, मूंग, चना और ग्वार (चारा फसलें) हैं जबकि चावल, जूट और गन्ना आर्द्रभूमि खेती में प्रचलित फसले हैं।

40. पवन उर्जा पर संक्षिप्त टिप्पणी करे।

उत्तर - पवन ऊर्जा का उपयोग सैकड़ों वर्षों से नौकायन, अनाज पीसने और सिंचाई के लिए किया जाता रहा है। विद्युत ऊर्जा के उत्पादन के लिए पवन ऊर्जा का आर्थिक रूप से उपयोग किया जा सकता है और इसमें एक अच्छे स्रोत के रूप में काफी संभावनाएं हैं। पृथ्वी की सतह पर हवाओं में उपलब्ध ऊर्जा 1.6 x 107  मेगावाट होने का अनुमान है, जो दुनिया में वर्तमान ऊर्जा खपत के बराबर है। पवन का उपयोग पवन चक्की चलाने के लिए किया जाता है, जो बदले में बिजली पैदा करने के लिए जनरेटर चलाती है।

पवन का उपयोग यांत्रिक शक्ति प्रदान करने के लिए भी किया जा सकता है, जैसे पानी पंप करना। पानी पंप करने के लिए पवन चक्कियाँ कई देशों में, विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों में स्थापित की गई हैं।

भारत में, आमतौर पर हवा की गति निम्न श्रेणी में होती है। छोटे और सीमांत खेतों की सिंचाई और ग्रामीण क्षेत्रों में पीने का पानी उपलब्ध कराने के लिए कम लागत, कम गति वाली पवन चक्कियाँ विकसित करने का प्रयास किया जा रहा है। सौराष्ट्र, पश्चिमी राजस्थान के तटीय क्षेत्रों और मध्य भारत के कुछ हिस्सों में तेज़ हवाएँ चल सकती हैं। इन क्षेत्रों में बिजली उत्पादन के लिए मध्यम और बड़े आकार की पवन चक्कियों का उपयोग किया जा सकता है।

पवन ऊर्जा एक पर्यावरण-अनुकूल ऊर्जा स्रोत है। यह ऊर्जा का एक नवीकरणीय स्रोत है, गैर-प्रदूषणकारी है और इसमें किसी भी ईंधन की खपत की आवश्यकता नहीं है। यह कुछ किलोवाट सिस्टम तक काम करता है और छोटे पैमाने पर कम महंगा है।

41. खनिजों के संरक्षण एवं प्रबंधन क्यों आवश्यक है ?

उत्तर – खनिज पदार्थ अशुद्ध अवस्था में खदानों से प्राप्त होते हैं। खनिजों का भंडार सीमित है। अतः अशुद्ध खनिजों का शुद्धीकरण खनिज प्रबंधन कहलाता है। सीमित खनिज भंडारों का योजनाबद्ध तरीके से पीढ़ी-दर-पीढ़ी उपयोग खनिजों का संरक्षण कहलाता है।

खनिज क्षयशील एवं अनवीकरणीय संसाधन है। इनकी मात्रा सीमित है। इनका पुनर्निर्माण असंभव है। खनिज उद्योगों का आधार है किन्तु औद्योगिक विकास के लिए खनिजों का अतिशय दोहन एवं उपयोग उनके अस्तित्व के लिए संकट है। अतः खनिजों का संरक्षण एवं प्रबंधन आवश्यक है।

42. जल अथवा मृदा प्रदूषण की रोकथाम के लिए चार महत्वपूर्ण सुझाव दीजिए।

उत्तर-

जल प्रदूषण

जल प्रदूषण की रोकथाम के निम्नलिखित सुझाव महत्वपूर्ण हैं-

(i) नगरों की गन्दगी को सीधे ही आस-पास के जल स्रोतों में नहीं मिलने देना चाहिए। उसे परिष्कृत किया जाना चाहिए।

(ii) सीवेज का जल भी सीधे नदियों में नहीं मिलने देना चाहिए।

(iii) औद्योगिक क्षेत्रों से निकले अपशिष्ट को बिना शोधित किए जलस्रोतों में नहीं मिलने देना चाहिए।

(iv) कूड़ा-करकट निपटाने की उत्तम व्यवस्था की जाए ताकि ये सीधे जल स्रोतों में न मिल सकें।

मृदा प्रदूषण

मृदा प्रदूषण को निम्न प्रकार से नियंत्रित किया जा सकता है-

1. कृषि कार्य में रासायनिक खादों के स्थान पर गोबर, घास, कूड़े आदि से निर्मित कम्पोस्ट खाद तथा हरी खाद का प्रयोग करना चाहिए।

2. एक खेत में एक ही फसल उगाने के स्थान पर अलग – अलग फसल को उगाने से मृदा प्रदूषण को रोकने में सहायता मिलती है। जैसे – अनाज वाली फसलों के साथ दाल वाली फसलें बोई जानी चाहिए।

3. मृदा प्रदूषण को रोकने के लिए वृक्षारोपण भी एक प्रभावी उपाय है।

4. मृदा प्रदूषण का प्रमुख कारण ठोस अपशिष्ट है। यदि इनका निस्तारण समुचित ढंग से व उपयुक्त विधि से किया जाये तो मृदा प्रदूषण को कम किया जा सकता है।

5. कृषि क्षेत्र में कीटनाशकों व उर्वरकों का सीमित प्रयोग किया जाना।

6. प्रदूषित जल से सिंचाई नहीं करना।

7. जनचेतना व जागरूकता द्वारा मृदा प्रदूषण को कम किया जा सकता है।

दीर्घ उत्तरीय प्रश्न

निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दें।

43. जनसंख्या वृ‌द्धि से आप क्या समझते हैं ? इनके घटकों की विस्तृत व्याख्या कीजिए |

उत्तर - किसी निश्चित प्रदेश में निश्चित समय अवधि में निवास करने वाले लोगों की जनसंख्या के आकार में परिवर्तन होना जनसंख्या वृद्धि कहलाता है।

जनसंख्या वृद्धि के महत्त्वपूर्ण घटक जन्म दर, मृत्यु दर एवं प्रवास हैं।

• जन्म दर : एक वर्ष के दौरान 1000 लोगों पर जीवित पैदा हुए बच्चों की संख्या। यह जनसंख्या के आकार तथा घनत्व दोनों में वृद्धि करती है। यदि किसी वर्ष के दौरान जन्मों की संख्या मृतकों की संख्या से अधिक हो तो उस वर्ष के दौरान कुल जनसंख्या में वृद्धि हो जाएगी।

• मृत्यु दर : यह एक वर्ष के दौरान 1000 लोगों पर मृतकों की संख्या को प्रदर्शित करती है। यह जनसंख्या के आकार तथा घनत्व दोनों में कमी ला देता है। यदि किसी वर्ष के दौरान मृतकों की संख्या जन्मों की संख्या से अधिक हो तो उस वर्ष के दौरान कुल जनसंख्या में कमी हो जाएगी।

• प्रवास : लोगों का एक क्षेत्र से दूसरे क्षेत्र में चले जाने को प्रवास कहते हैं। जनसंख्या वितरण एवं उसके घटकों को परिवर्तित करने में प्रवास की महत्त्वपूर्ण भूमिका होती है क्योंकि यह आगमन तथा प्रस्थान दोनों ही स्थानों के जनसांख्यिकीय आंकड़ों को प्रभावित करता है। प्रवास आंतरिक (देश के भीतर) या अंतर्राष्ट्रीय (देशों के बीच) हो सकता है। आंतरिक प्रवास जनसंख्या के आकार में परिवर्तन नहीं करता लेकिन देश में जनसंख्या के वितरण को प्रभावित करता है।

44. उद्योगों के स्थानीयकरण को प्रभावित करने वाले कारकों की विवेचना कीजिए ?

उत्तर - वे कारक जो किसी उद्योग की स्थापना में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं उन्हें स्थानीयकरण के कारकों के रूप में जाना जाता है।

उद्योगों के स्थानीयकरण के प्रमुख कारक निम्नलिखित हैं –

1. कच्चा माल: कच्चा माल किसी उद्योग का आधार है। कच्चा माल सुगमतापूर्वक पर्याप्त तथा सस्ते दर पर उपलब्ध होना चाहिए। जिन उद्योगों में प्रयुक्त कच्चा माल भारी, सस्ता तथा निर्माण के दौरान वजन कम हो जाता है, वे उद्योग कच्चे माल के स्त्रोत के समीप अवस्थित होते हैं। इसी प्रकार जल्दी खराब होने वाली वस्तुओं से सम्बन्धित उद्योग फल, सब्जी दूध, मछली आदि कच्चे मालों के स्त्रोत के समीप ही स्थापित होते हैं। गैर-ह्रास मूल को उद्योग जैसे सूती वस्त्र उद्योग इनके कच्चे माल के स्त्रोत अथवा बाजार कहीं भी स्थापित किये जा सकते हैं। इससे परिवहन व्यय में कोई अन्तर नहीं आता है।

2. शक्ति के साधन: कोयला, पेट्रोलियम, जल विद्युत, प्राकृतिक गैस वे परमाणु ऊर्जा प्रमुख शक्ति संसाधन हैं। लौह-इस्पात उद्योग कोयले की खदानों के समीप स्थापित होते हैं। एल्युमिनियम उद्योग सस्ते जल विद्युत उत्पादक क्षेत्रों में स्थापित होते हैं। जल विद्युत तारों से सम्प्रेषण व पेट्रोलियम, प्राकृतिक गैस में पाइपलाइन सुविधाजनक है। अतएव उद्योगों में विकेन्द्रीकरण की प्रवृत्ति बढ़ रही है।

3. परिवहन व संचार के साधनं: परिवहन लागत का औद्योगिक इकाई की अवस्थिति में महत्वपूर्ण स्थान होता है। संचार साधनों का महत्त्व भी औद्योगिक विकास में सहायक है। अतएव इनकी सुलभता औद्योगीकरण को प्रभावित करती है।

4. बाजार: बाजार उद्योगों के स्थानीयकरण का प्रमुख कारक है। अधिक क्रय शक्ति तथा सघन आबादी उद्योगों के लिए। वृहद् बाजार उपलब्ध कराती हैं।

5. कुशल श्रमिक: यद्यपि वर्तमान समय में मशीनीकरण का बोलबाला है किन्तु उद्योगों में कुशल श्रमिकों की प्राप्ति उनकै स्थानीयकरण को प्रभावित करती है।

6. पूँजी: पूँजी उद्योगों की स्थापना में एक महत्वपूर्ण कारक है। विकासशील देशों में पूँजी की कमी के कारण आशातीत औद्योगिक विकास नहीं हो पाया है।

7. जलापूर्ति: कुछ ऐसे उद्योग हैं जिनमें जल की पर्याप्त आवश्यकता होती है। जैसे-कागज उद्योग, चमड़ा उद्योग आदि। ऐसे उद्योग किसी स्थायी जल स्त्रोत के समीप ही स्थापित किये जाते हैं।

8. जलवायु: उपयुक्त एवं स्वास्थ्यप्रद जलवायु श्रमिकों की कार्यक्षमता बढ़ाती है। इसके अलावा कुछ उद्योग ऐसे हैं। जिनके लिए विशिष्ट जलवायु आवश्यक होती है। जैसे-वस्त्र उद्योग के लिए आर्द्र जलवायु व सिनेमाउद्योग के लिए स्वच्छ, आकाश व सूर्यप्रकाश वाली जलवायु आदि।

9. उच्च तकनीकी: उच्च तकनीकी के द्वारा विनिर्माण की गुणवत्ता को नियंत्रित करने, अपशिष्टों के निस्तारण व प्रदूषण बचाव सम्भव है। अत: इसका अहम् योगदान रहता है। इन सभी कारकों के अलावा सरकारी नीतियाँ, सस्ती भूमि, राजनीतिक स्थिरता, बैंकिंग व बीमा सम्बन्धी सुविधाएँ भी। उद्योगों के स्थानीयकरण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले कारक हैं।

45. ग्रामीण एवं नगरीय बस्ती किसे कहते हैं? इसकी विशेषताएं बताएं।

उत्तर - जनसंख्या का आकार, वृद्धि एवं विस्तार तथा आर्थिक क्रियाकलापों के आधार पर मानव बस्तियों को दो वर्गों में रखा जाता है। ग्रामीण बस्तियों में जनसंख्या व जनघनत्व बहुत ही कम होता है तथा यहाँ के निवासी प्राथमिक क्रियाकलापों के द्वारा जीविकोपार्जन करते हैं जबकि नगरीय बस्तियों में जनसंख्या व जनघनत्व अपेक्षाकृत अधिक होता है तथा यहाँ के अधिकतर निवासी द्वितीयक, तृतीयक व चतुर्थ श्रेणी के क्रियाकलापों में संलग्न रहकर अपनी जीविका का उपार्जन करते हैं।

ग्रामीण बस्तियों की विशेषताएँ

1. ग्रामीण बस्तियाँ प्रत्यक्ष रूप से अपनी भूमि से निकटता से गहरा संबंध बनाए रखती हैं।

2. यहाँ के निवासी ग्रामीण परिवेश से जुड़ी आर्थिक क्रियाओं, जैसे – कृषि, पशुपालन, लकड़ी काटना, मछली पकड़ना तथा खनन कार्य आदि से अपनी जीविका कमाते हैं।

3. इन बस्तियों का आकार अपेक्षाकृत छोटा होता है तथा वृद्धि एवं विस्तार की दर बहुत धीमी होती है।

4. ये बस्तियाँ प्रायः किसी जल-स्रोत जैसे- तालाब, झील, नदी, नहर अथवा झरने के समीप बसी होती हैं।

5. ग्रामीण बस्तियों के लोग सामाजिक, सांस्कृतिक व धार्मिक समरूपता के साथ आपस में गहरे संबंध रखते हैं। तथा एक- दूसरे को जानते-पहचानते हैं।

6. ग्रामीण बस्तियों के आवासों के प्रकार व निर्माण सामग्री में समरूपता पायी जाती है जो कि स्थानीय भौगोलिक तथा पर्यावरणीय दशाओं के अनुरूप होती है।

नगरीय बस्तियों की विशेषताएँ

1. समय बीतने के साथ कुछ बस्तियाँ विशेषीकृत होकर अपने आस-पास की बस्तियों को सेवाएँ प्रदान करने लगती हैं। ऐसी बस्तियों को नगर कहा जाता है।

2. नगरों के अधिकांश निवासी द्वितीयक, तृतीयक एवं चतुर्थ क्रियाकलापों में संलग्न रहते हैं।

3. जनसंख्या की अधिकता, व्यावसायिक विविधता व प्रशासनिक कार्यों के आधार पर नगरों को वर्गीकृत किया जाता है।

4. नगरों में जनसंख्या का घनत्व भी बहुत अधिक होता है।

5. नगरों की समस्याओं के समाधान हेतु नगर पालिका, नगर निगम, छावनी बोर्ड अथवा अधिसूचित नगरीय क्षेत्र समिति का गठन किया जाता है।

6. नगरों के विकास एवं विस्तार की दर बहुत अधिक होती है।

7. आवासों की सघनता के कारण लंबवत विस्तार अधिक होता है तथा आवासों के निर्माण में प्रयुक्त सामग्री विविधतापूर्ण होती है।

46. प्रवास क्या है ? इसके कारणों की विवेचना कीजिए।

उत्तर - लोगों के आर्थिक,सामाजिक- सांस्कृतिक,राजनैतिक या किसी भी अन्य कारणों से एक जगह से दूसरी जगह पर जाकर बसना या निवास करना प्रवास कहलाता है।

डेविड हीर के अनुसार, " अपने स्वाभाविक निवास से अलग होना प्रवास है"।

प्रवास के प्रमुख कारण निम्नलिखित हैं

1. आजीविका – सीमित कृषि भूमि और बढ़ती ग्रामीण जनसंख्या के कारण कृषि एवं सम्बन्धित क्षेत्रों में एक निश्चित जनसंख्या को ही रोजगार उपलब्ध हो पाता है। कुटीर उद्योगों की पतली हालत और कृषि में बढ़ते . मशीनीकरण के कारण ग्रामीण जनसंख्या के एक बड़े भाग को गाँवों में आजीविका नहीं मिल पाती। गाँवों में ये बेरोजगार अधिशेष जनसंख्या के रूप में नगरों में रोजगार की तलाश में प्रवास कर जाते हैं। नगरों में निश्चित तौर पर विविध प्रकार की आर्थिक सम्भावनाएँ होती हैं।

2. विवाह – सामाजिक रीति-रिवाजों के अन्तर्गत विवाह के उपरान्त लड़कियों को माता-पिता का घर छोड़कर ससुराल जाकर रहना होता है। भारत में इसी कारण स्त्रियों के प्रवास की संख्या उच्च है।

3. शिक्षा और वृत्तिका – योग्यता की वृद्धि हेतु लोग शहरों में विभिन्न प्रकार की उच्च तथा तकनीकी शिक्षा प्राप्त करने हेतु शहरों में प्रवास करते हैं। अपनी वृत्तिका को उत्कृष्ट बनाने के लिए भी सुनिश्चित, निपुण व्यक्ति, कलाकार, वैज्ञानिक अथवा किसी भी क्षेत्र में योग्य व्यक्ति शहरों में उन्नति के अवसर तलाशते हैं।

4. सामाजिक असुरक्षा एवं प्रकोप – राजनीतिक अस्थिरता एवं गड़बड़ी, जातीय दंगे, देश-विभाजन, वर्ग-संघर्ष से त्रस्त होकर लोग सुरक्षित स्थानों की तरफ प्रवास करते हैं। अनेक बार प्राकृतिक प्रकोप भी जनसंख्या को प्रवास करने के लिए बाधित करते हैं; जैसे—बाढ़, सूखा, चक्रवाती तूफान, भूकम्प, सुनामी आदि।

47. परिवहन एवं संचार सेवाओं के महत्व का सविस्तार वर्णन कीजिए।

उत्तर-किसी देश के आर्थिक विकास में परिवहन एवं संचार सेवाओं का महत्वपूर्ण योगदान रहता है। इन सेवाओं का जितना अधिक विकास होगा उतनी ही अधिक गतिशीलता वहां के व्यापार व वाणिज्य में देखने को मिलती है। साथ ही वहां के लोग भी अधिक क्रियाशील होते हैं। वहां के लोगों को तथा व्यापार व वाणिज्य को गतिशील बनाता है। क्योंकि

(i) परिवहन एक ऐसी सेवा या सुविधा है जिससे लोग, विनिर्मित व कच्चा माल एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाया जाता है। आधुनिक समाज में वस्तुओं के उत्पादन, वितरण और उपभोग के लिए द्रुतगामी परिवहन व्यवस्था चाहते हैं। परिवहन में दूरी को कई तरह से मापा जाता है-(i) मार्ग की लंबाई के रूप में, (ii) मार्ग में लगने वाले समय के रूप में तथा (iii) मार्ग पर यात्रा पर आने वाले खर्च के रूप में परिवहन के साधन के रूप में अनेक विकल्प होते हैं, जैसे-सड़क परिवहन, रेल परिवहन, वायुमार्ग परिवहन, जलमार्ग परिवहन तथा द्रव व गैस के लिए पाइप लाइन परिवहना लोगों को जितनी अधिक विकल्प उपलब्ध होंगे। अर्थव्यवस्था के विकास के लिए उतना ही अच्छा होगा। परिवहन के संदर्भ में दो बिंदु विचारणीय होते हैं-

(a) परिहवन की मांग जनसंख्या के आकार से प्रभावित होती है। अधिक जनसंख्या होने पर अधिक परिवहन सेवाओं की मांग होगी।

(b) परिवहन का जाल-तंत्र जितना विकसित होगा, अर्थव्यवस्था उतनी ही अधिक विकसित होगी।

2. संचार सेवाओं के द्वारा शब्दों में, विचारों व संदेशों को चाहे वे लिखित सामग्री के रूप में हैं अथवा श्रव्य-दृश्य सामग्री के रूप में, उन्हें विभिन्न माध्यमों जैसे डाक द्वारा, समाचार पत्र व पत्रिकाओं के द्वारा तथा दूसंचार सेवाओं (मोबील, दूरभाष, फैक्स, इंटरनेट, रेडियो व दूरदर्शन) के द्वारा गंतव्य तक पहुँचाना होता है। ये सभी जनसंचार के आधुनिक साधन हैं। इनका लोगों द्वारा जितना विकास व उपयोग होगी देश आर्थिक रूप से उतना ही प्रगति करेगा।

48. विश्व के मानचित्र में निम्नलिखित को दर्शायें :-

a. अलास्का

b. मेक्सिको की खाड़ी

c. जापान

d. केपटाऊन

e. मुंबई
Class 12 History Model Paper Solution 2023-24

JCERT/JAC प्रश्न बैंक - सह - उत्तर पुस्तक (Question Bank-Cum-Answer Book)

विषय सूची

भाग 'अ' मानव भूगोल के मूलभूत सिद्धांत

1

मानव भूगोल : प्रकृति एवं विषय क्षेत्र

2

विश्व की जनसंख्या : वितरण, घनत्व तथा वृद्धि

3

जनसंख्या संघटन

4

मानव विकास

5

प्राथमिक क्रियाएँ

6

द्वितीयक क्रियाएँ

7

तृतीयक और चतुर्थ क्रियाकलाप

8

परिवहन एवं संचार

9

अंतरराष्ट्रीय व्यापार

10

मानव अधिवास / बस्ती

भाग 'ब'- भारत : लोग और अर्थव्यवस्था

1

जनसंख्या: वितरण, घनत्व, वृद्धि एवं संघटन

2

प्रवास : प्रकार, कारण एवं परिणाम

3

मानव विकास

4

मानव बस्तियाँ

5

भू-संसाधन तथा कृषि

6

जल संसाधन

7

खनिज तथा ऊर्जा संसाधन

8

निर्माण उद्योग

9

भारत के संदर्भ में नियोजन और सततपोषणीय विकास

10

परिवहन एवं संचार

11

अंतर्राष्ट्रीय व्यापार

12

भौगोलिक परिप्रेक्ष्य में चयनित कुछ मुद्दे एवं समस्याएँ

Solved Paper of JAC Annual Intermediate Examination-2023




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